उम्मीद से कमजोर रहे अगस्त में रोजगार के आंकड़े, फेड की सितंबर बैठक में एक और रेट कट की संभावना बढ़ी
वाशिंगटन। अगस्त की रोजगार रिपोर्ट उम्मीद से कहीं ज्यादा कमजोर रही है। इस रिपोर्ट के आने के बाद माना जा रहा है कि सितंबर की बैठक में फेडरल रिजर्व ब्याज दरों में कटौती करेगा। निवेशकों की नजरें इस बात पर लगी हैं कि कटौती 25 आधार अंकों की होगी या 50 आधार अंकों की बड़ी चाल देखने को मिलेगी। सीएमई ग्रुप के 30-दिन वाले फेड फंड्स फ्यूचर्स के आधार पर बने फेड रेट मॉनिटर टूल के अनुसार अब 92.4% संभावना है कि 17 सितंबर को फेड 25 आधार अंक यानी चौथाई प्रतिशत की कटौती करेगा। वहीं 7.6% संभावना यह भी है कि कटौती आधा प्रतिशत अंक तक हो सकती है। एक दिन पहले तक यह संभावना 98.4% और 0% थी, यानी आधा प्रतिशत कटौती की संभावना नहीं मानी जा रही थी।
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अगस्त में सिर्फ 22,000 नई नौकरियां
उम्मीद में यह बदलाव इसलिए आया क्योंकि अमेरिकी श्रम विभाग ने बताया कि अगस्त में अर्थव्यवस्था में केवल 22,000 नई नौकरियां जुड़ीं, जबकि बाजार की उम्मीद करीब 75,000 की थी। इतना ही नहीं, पिछले दो महीनों के आंकड़ों को भी घटाकर 21,000 कम कर दिया गया। बेरोजगारी दर भी बढ़कर 4.3% पर पहुंच गई है, जो 2021 के बाद से सबसे उच्च स्तर है। इसका सीधा मतलब है कि श्रम बाजार में कमजोरी बढ़ रही है। हालांकि ब्याज दर घटाने का दबाव बढ़ गया है, लेकिन महंगाई अभी भी चिंता का विषय है। फेड चेयर जेरोम पॉवेल संकेत दे चुके हैं कि वह मौद्रिक नीति को लचीला बनाने की पहल कर सकते हैं। पिछले महीने जैक्सन होल सम्मेलन में उन्होंने कहा था नीति पहले से ही प्रतिबंधात्मक स्थिति में है इसे आगे बदलना पड़ सकता है।
कमजोर आंकड़े रेट कट का आधार
अब जबिक, रोजगार के आंकड़े कमजोर आए हैं, तो पॉवेल और उनके सहयोगियों के पास कटौती का मजबूत आधार है। ज्यादातर अर्थशास्त्रियों का मानना है कि फेड सितंबर में ब्याज दर में कटौती करेगा, लेकिन 50 आधार अंक की कटौती को अब भी मुश्किल माना जा रहा है। मॉर्गन स्टैनली के मुख्य अमेरिकी अर्थशास्त्री माइकल गैपन का कहना है कि यह रिपोर्ट इतनी कमजोर नहीं है कि आधा प्रतिशत कटौती को उचित ठहराया जा सके, लेकिन लगातार बैठकों में कटौती का रास्ता जरूर खुल गया है। उनका अनुमान है कि सितंबर और दिसंबर में 25-25 आधार अंक की कटौती होगी, हालांकि अगस्त की रिपोर्ट को देखते हुए यह कटौती सितंबर और अक्टूबर में भी हो सकती है।
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दरों में कटौती अब लगभग तय
सीआईबीसी के अर्थशास्त्री अली जैफरी ने भी अपने अनुमान बदल दिए हैं। उनका कहना है पहले वे अक्टूबर और दिसंबर में कटौती की उम्मीद कर रहे थे, अब लगता है कि सितंबर और अक्टूबर में होगी। हालांकि, फेड का टर्मिनल रेट यानी अंतिम ब्याज दर का स्तर 3.5% रहेगा और इस लक्ष्य तक अगले साल के मध्य तक पहुंचने की उम्मीद हैं। बैंक ऑफ अमेरिका की अर्थशास्त्री श्रुति मिश्रा ने कहा कि यह रिपोर्ट इस बात का सबूत है कि अब केवल श्रम आपूर्ति ही नहीं बल्कि श्रम की मांग भी कमजोर हो रही है। इसी कारण वे मानती हैं कि फेड सितंबर और दिसंबर में 25-25 आधार अंकों की कटौती करेगा। कुल मिलाकर, रोजगार बाजार की गिरावट ने साफ कर दिया है कि दरों में कटौती अब लगभग तय है और निवेशकों की निगाहें सिर्फ इस बात पर टिकी हैं कि यह कटौती कितनी बड़ी होगी।