Shivani Gupta
14 Oct 2025
संतोष चौधरी
भोपाल। कूनो नेशनल पार्क में अब चीतों को टहलने और फर्राटा लगाने के लिए और ज्यादा क्षेत्र मिल जाएगा। असल में सरकार ने पार्क से सटे 402.882 हेक्टेयर क्षेत्र में जहानगढ़ सेंक्चुरी विकसित की है। राज्य सरकार ने प्रदेश की इस 25वीं सेंक्चुरी की अधिसूचना जारी की है। चीतों के साथ-साथ पक्षियों और अन्य वन्य प्राणियों के संरक्षण और संवर्धन की दिशा में यह एक और कदम है। यह सेंक्चुरी श्योपुर जिले में कूनो नेशनल पार्क वन मंडल के तहत रहेगी। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने स्टेट वाइल्ड लाइफ बोर्ड की बैठक में 12 मार्च को जहानगढ़ सेंक्चुरी बनाने का निर्णय लिया था। कूनो वन्यप्राणी वनमंडल के तहत आने वाली यह सेंक्चुरी ओछापुरा रेंज में आएगी।
ये भी पढ़ें: डीआरआई ने भोपाल में किया एमडी ड्रग फैक्ट्री का भंडाफोड़, 92 करोड़ का माल जब्त, 7 लोग गिरफ्तार
-उत्तर में संरक्षित वन खंड खजूरी की पश्चिमी सीमा एवं कूनो राष्ट्रीय उद्यान की पश्चिमी सीमा।
-पूर्व में कूनो राष्ट्रीय उद्यान की पश्चिमी सीमा।
-दक्षिण में कूनो राष्ट्रीय उद्यान की उत्तरी सीमा।
-पश्चिम में संरक्षित वन खंड खजूरी की पूर्वी सीमाएं तथा आरक्षित वन खंड खाड़ी की पूर्व सीमा रहेगी।
-इस प्रकार, यह सेंक्चुरी कूनो लैंडस्केप का एक अभिन्न हिस्सा बन जाएगी।
ये भी पढ़ें: पैशन और प्रोफेशन बनी फोटोग्राफी, घंटों इंतजार के इंतजार के बाद आता है वह वह पल, जिसमें क्लिक होती है यादगार फोटो
-पक्षियों और जंगली जानवरों के लिए नया सुरक्षित आवास बनेगी।
-यह क्षेत्र कई दुर्लभ प्रजातियों का प्राकृतिक निवास स्थल है।
-कूनो नेशनल पार्क क्षेत्र का विस्तार हो जाएगा।
कूनो चीता ट्रांसलोकेशन प्रोजेक्ट के लिए अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा में है।
-नई सेंक्चुरी से इस क्षेत्र की ‘पारिस्थितिकी संतुलन’ और मजबूत होगा।
-सेंक्चुर की स्थापना से पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा।
-इको-टूरिज्म और वाइल्ड लाइफ रिसर्च को भी बढ़ावा मिलेगा।
-स्थानीय स्तर पर युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर निकलेंगे।
-सेंक्चुरी स्थापित होने से स्थानीय लोगों को अन्य कई लाभ होंगे।
-सेंक्चुरी के आसपास के ग्रामीणों को वन आधारित आजीविका मिलेगी।
-इको-डेवलपमेंट प्रोजेक्ट्स और सतत आजीविका योजनाओं का लाभ मिलेगा।
श्योपुर जिले में जहानगढ़ सेंक्चुरी बनाने के लिए राज्य सरकार ने अधिसूचना कर दी है। इस सेंक्चुरी के बनने से कूनो नेशनल पार्क के चीतों, अन्य वन्य प्राणियों सहित पक्षियों को फायदा होगा। उन्हें और ज्यादा क्षेत्र मिल जाएगा। इससे वन्य जीव संरक्षण को मिलेगा बढ़ावा
एल कृष्णामूर्ति, अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्य प्राणी)