Priyanshi Soni
4 Nov 2025
ढाका। बांग्लादेश की राजधानी ढाका सोमवार को एक भयावह विमान हादसा हो गया। बांग्लादेश एयरफोर्स का एक ट्रेनिंग फाइटर जेट उत्तरा इलाके के मिलस्टोन स्कूल एंड कॉलेज की इमारत पर जा गिरा। इस दर्दनाक हादसे में 16 छात्रों, 2 शिक्षकों और पायलट की मौत हो गई, जबकि 164 से अधिक लोग घायल हुए हैं। सरकार ने घटना पर गहरा शोक जताते हुए एक दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है।
बांग्लादेश एयरफोर्स ने बयान जारी कर बताया कि हादसे का शिकार हुआ विमान F-7 BGI था, जो चीन के J-7 का आधुनिक वर्जन है। यह विमान दोपहर 1:06 बजे नियमित प्रशिक्षण उड़ान पर रवाना हुआ था। उड़ान के कुछ ही मिनटों बाद यह उत्तरा के एक स्कूल की इमारत से टकराकर धू-धू कर जलने लगा।

हादसे के वक्त स्कूल में पढ़ाई चल रही थी और सैकड़ों छात्र क्लास में मौजूद थे। जोरदार धमाके और आग की लपटों के बाद स्कूल परिसर में चीख-पुकार मच गई। चश्मदीदों के मुताबिक, विमान इमारत से टकराने के बाद धमाके से फट गया, जिससे कई छात्र-शिक्षक घायल हो गए।
हादसे के बाद के वीडियो में देखा गया कि घायल बच्चों को हाथ ठेले पर और हेलिकॉप्टर के जरिए अस्पताल ले जाया गया। गंभीर रूप से झुलसे 60 से ज्यादा लोगों को बर्न इंस्टीट्यूट में भर्ती कराया गया है, जबकि अन्य का इलाज उत्तरा मेडिकल कॉलेज में जारी है।
मृत पायलट की पहचान फ्लाइट लेफ्टिनेंट मोहम्मद तौकीर इस्लाम के रूप में हुई है। वह एयरफोर्स के अनुभवी पायलटों में गिने जाते थे और ट्रेनिंग फ्लाइट पर तैनात थे।
हादसे में जिस विमान का उपयोग हुआ वह चीन में निर्मित F-7 BGI था। यह बांग्लादेश एयरफोर्स के बेड़े में मौजूद 16 विमानों में से एक था (अब 15 बचे हैं)। पिछले कुछ वर्षों में चीनी रक्षा उपकरणों की गुणवत्ता पर कई बार सवाल उठे हैं, और यह हादसा उन चिंताओं को और गहरा कर गया है।
बांग्लादेश की फायर सर्विस ने जानकारी दी कि राहत कार्य के लिए 9 दमकल यूनिट और 6 एंबुलेंस मौके पर भेजी गईं। सेना और पुलिस ने पूरे इलाके को घेर लिया और घायलों को निकालने का कार्य प्राथमिकता से शुरू किया।
बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस ने इस घटना पर गहरा शोक व्यक्त किया है। उन्होंने कहा, “यह राष्ट्र के लिए अत्यंत दुखद क्षण है। घायलों को हर संभव सहायता दी जाएगी और हादसे की उच्चस्तरीय जांच करवाई जाएगी।”
हालांकि अब तक 19 लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है, लेकिन घायलों की गंभीर स्थिति को देखते हुए मृतकों की संख्या बढ़ सकती है। सरकारी और निजी अस्पतालों में घायलों का इलाज जारी है और प्रशासन लगातार हालात पर नजर बनाए हुए है।