
बालाघाट। मध्य प्रदेश के बालाघाट जिले के लांजी थाना क्षेत्र में मंगलवार सुबह दर्दनाक हादसे में एक ही परिवार के तीन लोगों की हाईटेंशन लाइन की चपेट में आकर मौके पर ही जलकर मौत हो गई। ये हादसा सुबह करीब 8:30 बजे लांजी के देवलगांव मार्ग पर उस समय हुआ जब तीनों बाइक से दुर्गा मंदिर दर्शन के लिए निकले थे।
मृतकों की पहचान सेवकराम पांचे (30), उनकी पत्नी रेणुका पांचे (28) और भाई भोजराज पांचे (28) के रूप में हुई है। ये सभी सर्रा गांव के निवासी थे।
कैसे हुआ हादसा ?
एसडीएम कमल चंद्र सिंहसार ने बताया कि हादसे से कुछ देर पहले हाईटेंशन लाइन के ऊपर एक पेड़ की डाली गिर गई, जिससे तार टूटकर सड़क पर गिर गया। उसी समय तीनों मृतक बाइक से गुजर रहे थे, जिसकी वजह से बाइक तारों में उलझ गई और जिंदा करंट की चपेट में आकर आग पकड़ ली। झटका इतना तेज था कि तीनों को संभलने तक का मौका नहीं मिला और वहीं मौके पर ही उनकी मौत हो गई।
एक घंटे तक जलते रहे शव, कोई मदद नहीं कर सका
पूर्व सरपंच चुन्ने लाल हरदे ने बताया कि हादसे के बाद शव करीब एक घंटे तक जलते रहे। सेवकराम मजदूरी के सिलसिले में हैदराबाद में रहते थे और कुछ दिन पहले ही खेती के लिए गांव लौटे थे। उनके परिवार में एक छोटी बेटी है। भोजराज, सेवकराम के चाचा का बेटा था और उसकी दो बेटियां हैं।
ग्रामीणों ने बताया कि इलाके में कई बार झूलते तारों और जर्जर खंभों की शिकायत की गई थी, लेकिन बिजली विभाग ने कोई ठोस कदम नहीं उठाया। हादसे के बाद लोगों में विभाग के प्रति गुस्सा देखा गया।
विधायक और प्रशासन मौके पर पहुंचे, मुआवजे का ऐलान
घटना की सूचना मिलते ही लांजी विधायक राजकुमार कर्राहे, पुलिस, बिजली कंपनी का अमला और प्रशासनिक अधिकारी मौके पर पहुंचे। विधायक कर्राहे ने बताया कि दो दिन से इलाके में तेज बारिश और आंधी चल रही थी, जिससे पेड़ गिरा। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में बिजली लाइनें सड़क के ऊपर से गुजरती हैं, जो खतरनाक हैं। विधायक ने कलेक्टर से बात कर बिजली तारों के ऊपर लटक रही डालियों की नियमित छंटाई कराने की बात कही है।
बिजली कंपनी देगी मुआवजा
एसडीएम सिंहसार ने कहा कि हादसे में मृतकों के परिवार को बिजली कंपनी की ओर से मुआवजा दिया जाएगा। वहीं लांजी थाना प्रभारी विभेंदु टांडिया ने बताया कि इलाके में बिजली सप्लाई बंद कर दी गई है और मामले की जांच शुरू कर दी गई है।