Naresh Bhagoria
9 Nov 2025
पीपुल्स अपडेट
अब आपके मोबाइल नंबर पर किसी अनजान नंबर से कॉल आने पर केवल नंबर नहीं बल्कि नाम भी दिखेगा। यह सुविधा किसी ऐप के जरिए नहीं बल्कि सीधे मोबाइल नेटवर्क से मिलेगी। टेलीकम्युनिकेशन रेगुलेटरी अथॉरिटी (ट्राई) और दूरसंचार विभाग ने इस योजना को देशभर में लागू करने का निर्णय लिया है। इसका उद्देश्य बढ़ते साइबर फ्रॉड, डिजिटल अरेस्ट और ऐसी ही फाइनेंशियल गड़बड़ियों को रोकना है।
अब यूजर के स्क्रीन पर कोई अनजान नंबर से कॉल आता है तो वही नंबर दिखेगा जिस पर कॉलर ने सिम का रजिस्ट्रेशन कराया है। यदि कोई व्यक्ति किसी नंबर से ठगी करने की कोशिश करेगा तो जिस नाम पर सिम रजिस्टर्ड है वह दिखने लगेगा। इससे जिसके पास फोन आया है उसके लिए यह बड़ी सुविधा होगी।
ट्राई ने फरवरी 2024 में कॉलिंग नेम प्रेजेंटेशन सर्विस का सुझाव दिया था, लेकिन इसमें सिर्फ उपभोक्ता द्वारा मांग करने पर सुविधा देने का प्रस्ताव था। लेकिन अब दूरसंचार विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि यह सुविधा डिफॉल्ट रूप से सक्रिय रहेगी। हालांकि यदि कोई उपभोक्ता नहीं चाहेगा तो यह सुविधा बंद कराई जा सकेगी।
देश में फेक कॉल्स, डिजिटल अरेस्ट, साइबर क्राइम आदि में कॉलर पहचान छुपाकर दूसरे नाम से फोन करके वारदातों को अंजाम देते हैं। ऐसे मामले तेजी से बढ़े हैं। कई ठग सरकारी अधिकारी या बैंक के अफसर के नाम से कॉल कर लोगों से ओटीपी, पासवर्ड ले लेते हैं। अब जब कॉलर का असली नाम स्क्रीन पर दिखेगा तो ऐसी घटनाओं पर रोक लगने की संभावना है। हालांकि इसमें भी उपभोक्ता को सावधानी रखनी पड़ेगी।
कॉलिंग लाइन आइडेंटिफिकेशन रजिस्ट्रेशन (सीएलआईआर) वाले कॉलर का नाम स्क्रीन पर नजर नहीं आएगा। यह सुविधा खुफिया एजेंसियों और कुछ वीआईपी लोगों को दी जाती है। जिनके पास सीएलआईआर है, उनकी पहचान की जांच टेलीकॉम कंपनियों द्वारा की जाएगी ताकि गलत इस्तेमाल की संभावना नहीं रहे।