Naresh Bhagoria
14 Nov 2025
बालाघाट। नक्सली, गांव के बच्चों को उनके माता-पिता से छीन रहे हैं। वे अपने दलम के लिए ग्रामीणों से बच्चे मांगते हैं। अगर बच्चा देने के लिए मना किया जाए तो वे जान से मारने की धमकी देते हैं, डराते हैं। तीन साल पहले कुछ इसी तरह नक्सली सुनीता को जबरदस्ती ले गए थे। सुनीता भी नहीं चाहती थी कि वह उनके साथ जाए, लेकिन मजबूरी में उसे जाना पड़ा। बालाघाट पुलिस के सामने आत्मसमर्पण करने वाली नक्सली सुनीता आयाम (22) के पिता बिसरू आयाम, मां कुमली और चाची बुधरी ने यह दर्द बयां किया।
छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के गोमवेटा गांव की सुनीता के परिजन बेटी से मिलने बालाघाट पहुंचे। उनके साथ आए ग्राम सरपंच चन्नूराम पोड़ियाल ने कहा, उनकी पंचायत समेत आसपास के कई गांवों के 100 से ज्यादा युवाओं को नक्सली डरा-धमकाकर साथ ले गए हैं। वहां जाकर उन्हें सिर्फ प्रताड़नाएं मिलती हैं। तंग आकर कई युवा भाग आए तो कुछ लापता हैं। छत्तीसगढ़ में आत्मसर्पण करने वाले माओवादियों में उनके गांव के भी कई युवा हैं।
बिसरू ने बताया-मेरी दो बेटी और तीन बेटे हैं। तीन साल पहले सुनीता को नक्सली जबरन साथ ले गए। कई बार बेटी से मिलना चाहा, लेकिन नहीं मिली। एक-डेढ़ साल बाद माओवादी मेरी छोटी बेटी शबीला को भी साथ ले जाना चाहते थे, लेकिन हमने किसी तरह उसे रोक लिया। सुनीता की मां कुमली ने कहा- जब सुनीता को नक्सली ले गए, मैं उसे आखिरी बार भी नहीं देख पाई थी। बालाघाट पुलिस ने हमें बेटी से फिर मिलाया है। अब बहुत खुश हूं।
रूपझर थाना क्षेत्र अंतर्गत कटेझिरिया के घने जंगलों में सोमवार-मंगलवार की रात से माओवादियों और सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ जारी है। सुरक्षाबलों ने पूरे क्षेत्र को घेरकर सर्च आपरेशन तेज कर दिया है। जंगल में 6 से 8 माओवादियों की मौजूदगी की आशंका है। पुलिस के अनुसार सोमवार रात 11-12 बजे सर्चिंग में पांच नक्सली दिखाई दिए। उन्होंने सुरक्षाबलों को देखते ही फायरिंग शुरू कर दी। जवाब में जवानों ने भी मोर्चा संभाला, लेकिन अंधेरे का फायदा उठाकर नक्सली भाग निकले। इसके बाद सर्चिंग शुरु की गई है। इस आपरेशन में करीब 800 जवान शामिल हैं। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक आदर्शकांत शुक्ला ने बताया कि यह वही इलाका है, जहां 14 जून को हॉकफोर्स ने 14-14 लाख के इनामी चार नक्सलियों को मार गिराया था। इससे सतर्कता बरतते हुए तलाश जारी है।