Hemant Nagle
18 Nov 2025
भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि यह हमला केवल डर पैदा करने के लिए नहीं, बल्कि कश्मीर की अर्थव्यवस्था की रीढ़ – टूरिज्म सेक्टर को नुकसान पहुंचाने के लिए किया गया। उन्होंने कहा कि यह एक आर्थिक युद्ध जैसा था, जिसका उद्देश्य पर्यटन को बर्बाद करना और धार्मिक नफरत फैलाना था।
जयशंकर ने बड़ा खुलासा करते हुए बताया कि 9 मई की रात पाकिस्तान ने भारत पर हमले की धमकी दी थी। उस वक्त प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसी भी दबाव में आए बिना कड़ी प्रतिक्रिया देने का निर्णय लिया।
उन्होंने कहा कि मैं उस कमरे में मौजूद था जब अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने प्रधानमंत्री मोदी से फोन पर बात की। हमें कहा गया कि पाकिस्तान बड़ा हमला करने वाला है, लेकिन पीएम ने स्पष्ट कर दिया कि भारत डरेगा नहीं, बल्कि जवाब जरूर देगा।
विदेश मंत्री के अनुसार, पाकिस्तान ने वास्तव में उसी रात हमला किया, लेकिन भारतीय सेना ने तुरंत जवाब देकर पाकिस्तान को पीछे हटने पर मजबूर कर दिया। उन्होंने कहा कि यह प्रतिक्रिया पूरी तरह स्वतंत्र और आत्मनिर्भर निर्णय पर आधारित थी, किसी बाहरी दबाव के तहत नहीं।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में कहा था कि उन्होंने ट्रेड डील का दबाव बनाकर भारत-पाकिस्तान के बीच सीजफायर करवाया था।
इस पर जयशंकर ने प्रतिक्रिया दी- यह बात सच नहीं है। मैं खुद उस बातचीत में मौजूद था जब अमेरिकी उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने पीएम मोदी से बात की, उसमें ट्रेड डील का कोई जिक्र नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि भारत व्यापार और राष्ट्रीय सुरक्षा को अलग-अलग रखता है।
एस. जयशंकर ने बताया कि 10 मई की सुबह उनकी अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो से बात हुई थी, जिसमें पाकिस्तान की बातचीत की इच्छा का जिक्र हुआ। उसी दिन पाकिस्तान के डीजीएमओ ने भारत के डीजीएमओ को फोन कर सीजफायर की अपील की।
जयशंकर ने कहा कि पाकिस्तान की तरफ से आतंकवाद की घटनाएं लगातार हो रही हैं, लेकिन अब भारत की सोच बदल चुकी है। उन्होंने कहा कि देश की भावना है कि अब बहुत हो गया। हम हर हमले का जवाब देंगे, चाहे किसी भी स्तर की धमकी क्यों न हो – यहां तक कि परमाणु हमले की धमकी भी।