Mithilesh Yadav
21 Oct 2025
धर्म डेस्क।
गोवर्धन पूजा पर भगवान श्रीकृष्ण को 56 भोग लगाने की परंपरा बहुत खास मानी जाती है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आखिर 56 ही क्यों? इसके पीछे एक बहुत रोचक कथा जुड़ी हुई है।
कहा जाता है कि माता यशोदा रोज भगवान श्रीकृष्ण को आठ पहर भोजन कराती थीं। जब भगवान श्रीकृष्ण ने ब्रजवासियों को इंद्र के प्रकोप से बचाने के लिए सात दिनों तक गोवर्धन पर्वत उठाया था, तब उन्होंने उन सात दिनों में अन्न-जल का सेवन नहीं किया। उनकी इस तपस्या के बाद माता यशोदा और ब्रजवासियों ने प्रेमपूर्वक सात दिन के आठ पहर यानि कुल 56 प्रकार के व्यंजन तैयार किए और भगवान को अर्पित किए। तभी से यह परंपरा 56 भोग के रूप में जानी जाती हैं।
इस दिन भगवान श्रीकृष्ण के लिए मीठा, नमकीन, खट्टा, कड़वा और कसैला हर स्वाद से भरा थाल सजाया जाता है। मंदिरों में भव्य सजावट की जाती है और भक्तजन पूरे मन से पूजा कर कृष्ण कृपा की कामना करते हैं।