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Bengaluru Stampede : बेंगलुरु भगदड़ की जांच CID को सौंपी गई, हाईकोर्ट को 15 दिन में रिपोर्ट देने के आदेश

Bengaluru Stampedeकर्नाटक सरकार ने बेंगलुरु के एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम में 3-4 जून की रात RCB की जीत के जश्न के दौरान मची भगदड़ की जांच CID को सौंप दी है। हाई कोर्ट को दी गई स्टेटस रिपोर्ट में सरकार ने बताया कि जांच को गंभीरता से लेने के लिए एक विशेष जांच दल (SIT) गठित किया जाएगा और 15 दिन के भीतर पूरी रिपोर्ट सौंपी जाएगी।

एफआईआर दर्ज, SIT करेगी जांच

सरकार ने हाई कोर्ट को जानकारी दी कि इस मामले में कब्बन पार्क पुलिस थाने में अपराध क्रमांक 123/2025 के तहत भारतीय न्याय संहिता (BNS) की कई धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई है। अब यह केस CID को सौंप दिया गया है। SIT पूरे मामले की गहराई से जांच करेगी और यह देखा जाएगा कि किनकी लापरवाही से यह हादसा हुआ।

मजिस्ट्रेट जांच भी होगी, जवाबदेही तय की जाएगी

सरकार ने एक अलग मजिस्ट्रेट जांच की भी घोषणा की है। बेंगलुरु सिटी जिले के डिप्टी कमिश्नर व जिला मजिस्ट्रेट को 15 दिन में भगदड़ के कारणों की जांच कर रिपोर्ट देने को कहा गया है। इस जांच से यह पता लगाया जाएगा कि घटना के पीछे किसकी चूक रही और किन्हें जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए।

भीड़ पर काबू नहीं रख पाई पुलिस

RCB की जीत का जश्न मनाने के लिए चिन्नास्वामी स्टेडियम के पास करीब 2.5 लाख लोग जमा हो गए थे। पुलिस ने 1,380 कर्मियों, 13 KSRP प्लाटून, फायर टेंडर, एंबुलेंस और डी-स्वाट यूनिट की तैनाती की थी, फिर भी भीड़ बेकाबू हो गई। स्टेडियम के कई गेटों (1, 6, 7, 17-21) पर भगदड़ मच गई, जिससे 11 लोगों की जान गई और 56 घायल हो गए।

पीड़ित परिवारों को मुआवजा, आरोपियों पर केस

सरकार ने मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपए और घायलों का मुफ्त इलाज देने का ऐलान किया है। कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ (KSCA) ने भी 5 लाख रुपए की सहायता देने की घोषणा की है। इस मामले में RCB, KSCA, डीएनए नेटवर्क और अन्य के खिलाफ आपराधिक लापरवाही का केस दर्ज किया गया है। पुलिस उपायुक्त (DCP) सेंट्रल ने इसकी पुष्टि की है।

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