Shivani Gupta
24 Dec 2025
नई दिल्ली। सोशल मीडिया पर स्टैंडअप कॉमेडी के नाम पर दिव्यांगजनों की भावनाएं आहत करने वाले एक गंभीर मामले में मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने इंडियाज गॉट लेटेंट के होस्ट समय रैना समेत पांच इन्फ्लुएंसरों को अदालत में पेश होने का आदेश दिया। इन पर आरोप है कि उन्होंने एक शो के दौरान स्पाइनल मस्कुलर अट्रॉफी (SMA) जैसी गंभीर बीमारी से जूझ रहे नवजात शिशु और दिव्यांग व्यक्तियों का मजाक उड़ाया।
जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस जॉयमाल्या बागची की बेंच ने इस मामले को परेशान करने वाला बताया और सभी इन्फ्लुएंसरों को दो हफ्ते के भीतर जवाब दाखिल करने का आदेश दिया। कोर्ट ने चेतावनी दी कि इससे अधिक समय नहीं दिया जाएगा। साथ ही अगली सुनवाई में सभी को व्यक्तिगत रूप से उपस्थित रहने को कहा गया है।
हालांकि, इन्फ्लुएंसर सोनाली ठक्कर को उनकी स्वास्थ्य स्थिति के कारण अगली सुनवाई में वर्चुअल उपस्थिति की अनुमति दी गई है।
कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल आर. वेंकटरमणि को सोशल मीडिया पर कंटेंट नियंत्रण के लिए दिशानिर्देश तैयार करने को कहा, जो अभिव्यक्ति की आजादी और दूसरों के अधिकारों के सम्मान के बीच संतुलन बनाए। अदालत ने कहा कि संविधान ने हमें अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता दी है, लेकिन यह किसी और की गरिमा और अधिकारों को ठेस पहुंचाकर नहीं हो सकती।
क्योर SMA फाउंडेशन ऑफ इंडिया की याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट में बताया गया कि एक स्टैंडअप शो दैट कॉमेडी क्लब में समय रैना ने एक SMA पीड़ित नवजात के इलाज पर व्यंग्य किया। उन्होंने कहा, “16 करोड़ का इंजेक्शन लगवा कर भी बच्चा मर गया तो?” या “अगर बच गया और बोला कि मैं कवि बनना चाहता हूं, तो?”
कोर्ट ने टिप्पणी को बेहद असंवेदनशील और अमानवीय करार दिया और कहा कि ऐसे मामलों को गंभीरता से लिया जाएगा।