Naresh Bhagoria
21 Dec 2025
इंदौर। उपराष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन ने कहा है कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी केवल एक राजनेता नहीं, बल्कि एक विचार, एक मिशन और एक प्रेरणा थे। उन्होंने अपनी पहल, नवाचारों और दूरदर्शी निर्णयों से आधुनिक भारत के विकास की मजबूत नींव रखी। वह रविवार को अटल बिहारी वाजपेयी की 100वीं जन्म जयंती के अवसर पर ‘शून्य से शतक’ कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे। इस आयोजन में राज्यपाल मंगुभाई पटेल और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव भी मौजूद थे। उप राष्ट्रपति ने कहा कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, स्वर्णिम चतुर्भुज परियोजना, दिल्ली मेट्रो, नए राज्यों का गठन और पोखरण परमाणु परीक्षण जैसे निर्णय आज भी देश की प्रगति के स्तंभ हैं। अटल जी की विरासत को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी विकसित भारत 2047 के लक्ष्य के साथ आगे बढ़ा रहे हैं।
राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने कहा कि अटलजी का जीवन एक ऐसे ग्रंथ के समान था, जिसका हर पन्ना नैतिकता, राष्ट्रधर्म और उत्कृष्टता की सीख देता है। उनका विराट व्यक्तित्व, उच्च आदर्श और संवेदनशील नेतृत्व आज की पीढ़ी के लिए प्रेरणास्रोत है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने अटल बिहारी वाजपेयी को राष्ट्रनीति का शिखर पुरुष, राजनीति का अजातशत्रु और लोकतांत्रिक मयार्दाओं का प्रतीक बताया। उन्होंने कहा कि उनकी राजनीतिक यात्रा भारतीय लोकतंत्र की प्रेरक गाथा है। लोकसभा में उनके ओजस्वी भाषण हों या संयुक्त राष्ट्र महासभा में हिंदी में दिया गया ऐतिहासिक वक्तव्य। हर मंच पर उन्होंने भारत की प्रतिष्ठा बढ़ाई। कारगिल युद्ध और परमाणु परीक्षणों के समय उनका नेतृत्व देश के आत्मसम्मान का प्रतीक बना।
इस आयोजन में कार्यक्रम में चार प्रतिष्ठित विभूतियों-प्रसिद्ध कवि सत्यनारायण सत्तन, पूर्व केंद्रीय मंत्री सत्यनारायण जटिया, भारतीय क्रिकेट टीम चयन समिति के पूर्व चयनकर्ता संजय जगदाले और साहित्यकार पारंग शुक्ला को ‘अटल अलंकरण’ से सम्मानित किया गया। कार्यक्रम में लोकसभा की पूर्व अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, सांसद शंकर लालवानी, नगरीय विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय आदि मौजूद थे। कार्यक्रम में बाजपेयी के जीवन पर आधारित लघु फिल्म का प्रदर्शन और ‘सदा अटल महाग्रंथ’ के तृतीय संस्करण के कवर तथा कैलेंडर का विमोचन भी किया गया।