Priyanshi Soni
16 Oct 2025
Aakash Waghmare
16 Oct 2025
Priyanshi Soni
16 Oct 2025
गांधीनगर। गुजरात की राजनीति में एक बार फिर बड़ा बदलाव देखने को मिल रहा है। राजधानी गांधीनगर में शुक्रवार सुबह 11:30 बजे नई कैबिनेट का शपथ ग्रहण समारोह होगा। इससे पहले गुरुवार को मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल की पूरी कैबिनेट ने इस्तीफा दे दिया था। यह फेरबदल 2027 विधानसभा चुनाव की तैयारी से जोड़कर देखा जा रहा है। सूत्रों के मुताबिक, इस बार मंत्रिमंडल में नए चेहरे और दो डिप्टी मुख्यमंत्री शामिल किए जा सकते हैं।
राजनीतिक जानकारों का कहना है कि, पार्टी आलाकमान मौजूदा मंत्रियों के कामकाज से संतुष्ट नहीं था। हाल ही में हुए विसावदर उपचुनाव में भाजपा को AAP से हार का सामना करना पड़ा, जिसने पार्टी को झटका दिया। इसके अलावा, जनवरी 2026 में नगर निकाय और मनपा चुनाव होने वाले हैं। भाजपा चाहती है कि, इससे पहले संगठन और सरकार दोनों में नई ऊर्जा और चेहरे सामने आएं।
भूपेंद्र पटेल ने पहली बार सितंबर 2021 में सीएम पद की शपथ ली थी, जब विजय रूपाणी ने अचानक इस्तीफा दिया था। फिर दिसंबर 2022 में विधानसभा चुनाव के बाद वे दोबारा मुख्यमंत्री बने। अब यह उनका तीसरा मंत्रिमंडल होगा। जानकारी के अनुसार, पुराने मंत्रियों में से केवल 2-3 चेहरे दोबारा शामिल हो सकते हैं, जबकि बाकी की जगह नए नेताओं को दी जाएगी।
गांधीनगर में गुरुवार देर रात सीएम आवास पर अहम बैठक हुई, जिसमें केंद्रीय नेतृत्व ने नई कैबिनेट के नामों पर चर्चा की। राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और संगठन महामंत्री सुनील बंसल पहले ही गांधीनगर पहुंच चुके थे। बताया जा रहा है कि, गृह मंत्री अमित शाह भी 17 अक्टूबर सुबह शपथ ग्रहण से पहले अहम बैठक में शामिल होंगे।
इस बार के मंत्रिमंडल में कांग्रेस से भाजपा में आए नेताओं को भी जगह मिलने की संभावना है। इनमें अर्जुन मोढवाड़िया, अल्पेश ठाकोर, सीजे चावड़ा और हार्दिक पटेल जैसे नाम प्रमुख हैं। इसके अलावा, सौराष्ट्र क्षेत्र से जयेश रादडिया और जीतू वाघाणी के शामिल होने की चर्चा है। पार्टी इस बार पाटीदार और ठाकोर समुदाय के संतुलन पर भी जोर दे रही है।
इस बार भाजपा महिला चेहरों को भी मंत्री पद देने पर विचार कर रही है। जिनके नाम चर्चा में हैं, वे हैं-
मंत्रिमंडल से हटाए जाने वाले संभावित मंत्रियों में पुरुषोत्तम सोलंकी (मत्स्य एवं पशुपालन), बच्चूभाई खाबड (पंचायत), मुकेश पटेल (वन एवं पर्यावरण), भीखूसिंह परमार (खाद्य आपूर्ति) और कुंवरजी हलपति (आदिवासी विकास) शामिल हैं।
कनुभाई देसाई - वित्त, ऊर्जा
ऋषिकेश पटेल - स्वास्थ्य, कानून
राघवजी पटेल - कृषि, ग्राम विकास
बलवंत सिंह राजपूत - उद्योग, नागरिक उड्डयन
भानुबेन बावरिया - महिला एवं बाल कल्याण
मुलुभाई बेरा - पर्यटन, वन एवं पर्यावरण
कुबेर डिंडोर - आदिवासी विकास
कुंवरजी बावलिया - जल संसाधन
हर्ष संघवी - गृह, खेल, परिवहन
जगदीश विश्वकर्मा - MSME, सहकारिता
गुजरात की राजनीति में अचानक फेरबदल नई बात नहीं है।
आनंदीबेन पटेल (2016): पाटीदार आंदोलन के बाद इस्तीफा
विजय रूपाणी (2021): पार्टी के प्रभावी चेहरे की तलाश
भूपेंद्र पटेल (2025): आगामी चुनाव की तैयारी
दिलचस्प बात यह है कि पिछले 60 सालों में अधिकांश कैबिनेट विस्तार या बदलाव अगस्त से अक्टूबर के बीच ही हुए हैं। 1962 से अब तक 16 बार मंत्रिमंडल विस्तार इन्हीं महीनों में हुआ है। चाहे वह मोदी, आनंदीबेन या भूपेंद्र पटेल का कार्यकाल ही क्यों न रहा हो।