Peoples Reporter
8 Oct 2025
नई दिल्ली। वोटर वेरिफिकेशन और कथित वोट चोरी के आरोपों को लेकर विपक्ष ने सोमवार को जोरदार प्रदर्शन किया। संसद से चुनाव आयोग के दफ्तर तक निकाले गए इस मार्च में कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, तृणमूल कांग्रेस समेत कई दलों के 300 से ज्यादा सांसद शामिल हुए। मार्च के दौरान राहुल गांधी, प्रियंका गांधी, अखिलेश यादव और अन्य नेताओं को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया। इस विरोध प्रदर्शन के चलते संसद के दोनों सदनों की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक स्थगित करनी पड़ी।
विपक्षी सांसदों का मार्च संसद के मकर द्वार से शुरू हुआ। उनके हाथों में वोट बचाओ लिखे बैनर थे। विपक्ष का कहना था कि यह शांतिपूर्ण मार्च है, लेकिन दिल्ली पुलिस का दावा था कि इंडिया ब्लॉक ने इसके लिए कोई अनुमति नहीं ली है। परिवहन भवन के पास बैरिकेडिंग लगाकर मार्च को रोक दिया गया। इस दौरान समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने बैरिकेडिंग फांदने की कोशिश की, जबकि अन्य सांसद जमीन पर बैठकर नारेबाजी करने लगे।
प्रियंका गांधी, डिंपल यादव समेत कई सांसद 'वोट चोर गद्दी छोड़' के नारे लगाते दिखे। प्रदर्शन के दौरान तृणमूल कांग्रेस सांसद मिताली बाग की तबीयत बिगड़ गई और वे बेहोश हो गईं। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी और अन्य सांसदों ने उनकी मदद की। इसके बाद मौके पर मेडिकल सहायता पहुंचाई गई।
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने आरोप लगाया कि पुलिस और सरकार सांसदों को 30 सेकंड भी मार्च करने नहीं दे रही है। उन्होंने कहा कि सिर्फ 30 सांसदों को जाने देने का प्रस्ताव दिया गया, लेकिन सभी दलों से 30 लोगों को चुनना संभव नहीं।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि सरकार चुनाव आयोग के पास विपक्ष को जाने से रोक रही है, जो लोकतांत्रिक मूल्यों के खिलाफ है। प्रियंका गांधी ने इसे सरकार की कायरता बताया और कहा कि भाजपा सत्ता के डर से विपक्ष की आवाज दबा रही है। राहुल गांधी ने साफ-सुथरी वोटर लिस्ट की मांग की।
दिल्ली के ज्वाइंट कमिश्नर ऑफ पुलिस दीपक पुरोहित ने बताया कि हिरासत में लिए गए सांसदों को संसद मार्ग पुलिस स्टेशन ले जाया गया है। उन्होंने कहा कि यदि सांसद चाहें, तो उन्हें चुनाव आयोग कार्यालय तक पहुंचाया जा सकता है, जहां पर्याप्त पुलिस व्यवस्था है।
भाजपा के केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने विपक्ष पर हमला करते हुए कहा कि राहुल गांधी संविधान के खिलाफ काम कर रहे हैं और चुनावों में भ्रम फैलाने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस EVM और चुनाव प्रक्रिया पर झूठ फैलाकर अराजकता पैदा करना चाहती है।
कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा कि राहुल गांधी ने गंभीर सवाल उठाए हैं, जिनका चुनाव आयोग को जवाब देना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर मतदाता सूची में डुप्लीकेट नाम, कई पते या फर्जी वोटिंग की आशंका है, तो इसका समाधान होना जरूरी है, ताकि जनता के मन में चुनाव की विश्वसनीयता पर कोई संदेह न रहे।
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वोटर वेरिफिकेशन के मुद्दे पर राज्यसभा और लोकसभा दोनों में भारी हंगामा हुआ। राज्यसभा में जीरो आवर के दौरान सांसद नारेबाजी करते हुए सभापति की आसंदी तक पहुंच गए। लोकसभा में भी विपक्षी सदस्यों के शोर-शराबे के कारण कार्यवाही को दोपहर 2 बजे तक स्थगित कर दिया गया।