
लखनऊ। हाथरस भगदड़ हादसे के बाद उत्तर प्रदेश सरकार ने पहला एक्शन लिया है। घटना की जांच कर रहे विशेष जांच दल (SIT) ने सीएम योगी आदित्यनाथ को जांच रिपोर्ट सौंपी। जिसके बाद SDM, CO समेत 6 अधिकारियों को सस्पेंड कर दिया गया है।
पुलिस-प्रशासन ने घटना को गंभीरता से नहीं लिया – SIT
SIT का कहना है कि हाथरस में हुई भगदड़ के लिए आयोजक जिम्मेदार है, साथ ही प्रशासन की जवाबदेही भी है। स्थानीय पुलिस और प्रशासन ने घटना को गंभीरता से नहीं लिया, वरिष्ठ अधिकारियों को उचित जानकारी नहीं दी। रिपोर्ट में कहा गया कि आयोजकों ने बिना पुलिस वेरिफिकेशन जिन लोगों को अपने साथ जोड़ा, उनसे अव्यवस्था फैली।
इलाहाबाद हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज न्यायाधीश ब्रिजेश कुमार श्रीवास्तव, रिटायर्ड आईपीएस हेमंत राव और रिटायर्ड आईपीएस भावेश कुमार सिंह की अध्यक्षता में एक अलग न्यायिक आयोग भी हाथरस भगदड़ मामले की जांच कर रहा है।
कोई भी उपद्रवी बख्शा नहीं जाएगा – भोले बाबा
हाथरस मामले में सूरजपाल उर्फ भोले बाबा का पहला बयान सामने आया है। उन्होंने कहा कि 2 जुलाई की घटना के बाद मैं बहुत दुखी हूं। भगवान हमें यह दर्द सहने की शक्ति दे। कृपया सरकार एवं प्रशासन पर विश्वास बनाए रखें। मुझे विश्वास है कि अराजकता फैलाने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा। मैंने अपने वकील एपी सिंह के माध्यम से समिति के सदस्यों से शोक संतप्त परिवारों और घायलों के साथ खड़े रहने और जीवन भर उनकी मदद करने का अनुरोध किया है।
मुख्य आरोपी देव प्रकाश मधुकर दिल्ली से गिरफ्तार
हाथरस भगदड़ मामले में मुख्य आरोपी और सेवादार देव प्रकाश मधुकर ने शुक्रवार देर रात दिल्ली के एक अस्पताल में पुलिस के सामने सरेंडर किया। यूपी पुलिस ने उस पर एक लाख रुपए का इनाम रखा था। भोले बाबा के वकील एपी सिंह ने कहा- देव प्रकाश हार्ट का मरीज है। तबीयत ठीक नहीं थी। हाथरस के एसपी निपुण अग्रवाल ने दिल्ली से मधुकर की गिरफ्तारी की पुष्टि की
अब तक गिरफ्तार आरोपियों के नाम
- देव प्रकाश मधुकर, हाथरस हादसे का मुख्य आरोपी और सेवादार
- राम लड़ैते पुत्र रहबारी सिंह यादव, निवासी भानपुरा थाना कुरावली जनपद, मैनपुरी
- उपेन्द्र सिंह यादव पुत्र रामेश्वर सिंह, निवासी बाईपास एटा रोड थाना, शिकोहाबाद
- मेघ सिंह पुत्र9 हुकुम सिंह, निवासी मौ दमदपुरा थाना सिकंदराराऊ, हाथरस
- मंजू यादव पत्नी सुशील कुमार, निवासी कचौरा थाना सिकंदराराऊ, हाथरस
- मुकेश कुमार पुत्र मोहर सिंह प्रेमी, निवासी न्यू कॉलोनी दमदपुरा थाना सिकंदराराऊ, हाथरस
- मंजू देवी पत्नी किशन कुमार यादव, निवासी कचौरा थाना सिकंदराराऊ, हाथरस
चरणों की धूल लेने टूटी भीड़ और भगदड़ मची
उत्तर प्रदेश के हाथरस में भोले बाबा के सत्संग में मची भगदड़ में 121 लोगों की मौत हो गई। भगदड़ मचने की असल वजह बाबा के चरणों की धूल लेने के लिए लोग टूट पड़े थे। भोले बाबा जब निकले, तो चरण रज लेने के लिए महिलाएं टूट पड़ीं। भीड़ हटाने के लिए वॉलंटियर्स ने वाटर कैनन से पानी की बौछार कर दी। बचने के लिए भीड़ इधर-उधर भागने लगी और भगदड़ मच गई। लोग फिसले और जमीन पर गिरे, फिर एक-दूसरे को रौंदते हुए निकल गए।
भोले बाबा पर यौन शोषण समेत कई गंभीर आरोप
भोले बाबा का असली नाम सूरजपाल है। बता दें कि वह एटा जिले की पटयाली तहसील के गांव बहादुर नगरी के रहने वाले हैं। पढ़ाई के बाद UP पुलिस में नौकरी लग गई। UP के 12 थानों के अलावा इंटेलिजेंस यूनिट में सूरज पाल की तैनाती रही। नौकरी के दौरान उसके खिलाफ यौन शोषण का मुकदमा दर्ज होने के बाद उसे पुलिस विभाग से बर्खास्त किया गया।
जेल से छूटने के बाद उसने अपना नाम नारायण हरि उर्फ साकार विश्वहरि रख लिया और प्रवचन देना शुरू किया। बाबा ने ‘सत्संग’ करना शुरू कर दिया तो लोग उसे भोले बाबा कहने लगे। सूरजपाल उर्फ भोले बाबा की कोई संतान नहीं है। सत्संग में बाबा की पत्नी भी साथ रहती हैं। बहादुर नगर में आश्रम स्थापित करने के बाद भोले बाबा की प्रसिद्धि गरीबों और वंचित वर्गों के बीच तेजी से बढ़ी और लाखों लोग अनुयायी बन गए।
3 Comments