करूर। तमिलनाडु के करूर में अभिनेता और नेता विजय की पार्टी तमिऴग वीरकच्चि (TVK) की रैली में हुई भगदड़ ने पूरे प्रदेश को हिला दिया है। 27 सितंबर की इस त्रासदी में 41 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें 18 महिलाएं, 13 पुरुष और 10 बच्चे शामिल हैं। वहीं 95 लोग घायल हुए हैं, जिनमें से 51 ICU में जिंदगी और मौत से जूझ रहे हैं। हादसे के बाद राजनीतिक और प्रशासनिक जिम्मेदारियों को लेकर सवाल उठने लगे हैं।
अब तक दो गिरफ्तारियां, कई पर FIR
- पुलिस ने मामले में अब तक दो गिरफ्तारियां की हैं।
- पहली गिरफ्तारी सोमवार को TVK के जिला सचिव वीपी माथिय्यालगन की हुई।
- दूसरी गिरफ्तारी मंगलवार को यूट्यूबर और पत्रकार फेलिक्स गेराल्ड की हुई।
इसके अलावा पुलिस ने माथिय्यालगन, राज्य महासचिव बसी आनंद और उप महासचिव निर्मल कुमार के खिलाफ FIR दर्ज की है। FIR में विजय पर भी गंभीर आरोप लगाए गए हैं, लेकिन उनके खिलाफ सीधे केस दर्ज नहीं हुआ है।
करूर में विजय की रैली में क्यों मची भगदड़?
- रैली में 10 हजार लोगों की अनुमति थी, लेकिन 50 हजार से ज्यादा लोग इकट्ठा हो गए।
- विजय करीब 6 घंटे देरी से पहुंचे, जिससे भीड़ बेकाबू हो गई।
- शाम करीब 7.45 बजे कुछ लोग विजय की बस की ओर बढ़े और धक्का-मुक्की शुरू हो गई।
- गर्मी और भीड़ के दबाव में कई लोग बेहोश होकर गिर पड़े, कई बच्चों को सांस लेने में दिक्कत हुई।
- पुलिस और वॉलंटियर्स की अनुपस्थिति ने हालात और बिगाड़ दिए।
- भगदड़ में कुल 41 लोगों की जान गई- जिनमें 18 महिलाएं, 13 पुरुष और 10 बच्चे शामिल हैं।
विजय पर लगाए गए आरोप
- FIR की कॉपी के अनुसार विजय जानबूझकर देर से रैली में पहुंचे।
- विजय शाम 4:45 बजे करूर में मौजूद थे, लेकिन उनका काफिला 7 बजे रैली स्थल पर पहुंचा।
- भीड़ को ज्यादा दिखाने के लिए उनकी एंट्री चार घंटे देर से कराई गई।
- हजारों समर्थक दोपहर एक बजे से ही तेज धूप में इंतजार कर रहे थे।
- अनुमति के बिना रोड शो भी आयोजित किया गया।
पुलिस का कहना है कि, आयोजकों को पहले ही चेतावनी दी गई थी कि हालात बिगड़ सकते हैं, लेकिन इसे नजरअंदाज कर दिया गया।
किन धाराओं में दर्ज हुआ केस
पुलिस ने TVK नेताओं पर भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धाराओं में केस दर्ज किया है-
धारा 105 : हत्या का प्रयास
धारा 110 : हत्या का प्रयास करने का प्रयास
धारा 125 : अन्य की जान को खतरे में डालना
धारा 223 : आदेश की अवहेलना
साथ ही, तमिलनाडु सार्वजनिक संपत्ति नुकसान और क्षति रोकथाम अधिनियम, 1992 की धारा 3 के तहत भी कार्रवाई की गई है।
हादसे की जांच और मुआवजा
- मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन ने इस हादसे की जांच के लिए रिटायर्ड हाईकोर्ट जस्टिस अरूणा जगदीशन की अध्यक्षता में एक आयोग का गठन किया है।
- मृतकों के परिवारों को 10-10 लाख रुपए और घायलों को 1 लाख रुपए मुआवजा दिया जाएगा।
- सीएम स्टालिन खुद करूर पहुंचे और घायलों व पीड़ित परिवारों से मिले।
केंद्र सरकार के मंत्री भी पहुंचे करूर
हादसे के बाद केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण राज्य मंत्री एल. मुरुगन ने करूर के वेलुसामीपुरम और पुथुर गांव का दौरा किया। यहां के कई लोगों ने इस त्रासदी में अपने परिजन खोए हैं।
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने करूर भगदड़ के पीड़ितों के परिवारों से मुलाकात की।
TVK की सफाई- DMK पर आरोप
TVK के वकील अरिवझगन ने दावा किया है कि यह पूरी घटना DMK नेताओं की साजिश है। उन्होंने कहा कि उनके पास CCTV फुटेज और स्थानीय लोगों की गवाही है, जो इस साजिश की ओर इशारा करती है। पार्टी ने SIT या CBI जांच की मांग की है।
बम की धमकी से बढ़ी चिंता
घटना के बाद रविवार रात विजय के चेन्नई स्थित घर को उड़ाने की धमकी मिली। पुलिस को कॉल पर सूचना दी गई कि घर में बम रखा गया है। बम स्क्वॉड ने तलाशी ली, लेकिन कोई विस्फोटक नहीं मिला। फिलहाल सुरक्षा बढ़ा दी गई है।
6 बड़ी वजहें, जिनसे 41 लोगों की मौत हुई
- विजय की रैली में 6 घंटे से अधिक की देरी।
- 7:45 बजे अचानक भीड़ का मंच और बस की ओर बढ़ना।
- धक्का-मुक्की और घुटन से कई लोग बेहोश हुए।
- भगदड़ में कई बच्चे परिवार से बिछड़ गए, कई कुचल गए।
- भीड़ को संभालने के लिए न पर्याप्त पुलिस मौजूद थी, न वॉलंटियर्स।
- 30 हजार की क्षमता वाले मैदान में 50 हजार से ज्यादा लोगों की भीड़।