Manisha Dhanwani
20 Oct 2025
Mithilesh Yadav
20 Oct 2025
सीतामढ़ी (बिहार)। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को सीतामढ़ी में माता सीता मंदिर के भव्य निर्माण की आधारशिला रखी। इस ऐतिहासिक क्षण का गवाह बना समस्त मिथिलांचल, जहां भारी बारिश के बावजूद भारी जनसमूह जुटा रहा। कार्यक्रम में डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी समेत अन्य भाजपा और जदयू के वरिष्ठ नेता भी मौजूद रहे।
इस मौके पर गृहमंत्री अमित शाह ने न सिर्फ मंदिर निर्माण के संकल्प की बात कही, बल्कि अपने भाषण में विपक्ष, विशेषकर लालू प्रसाद यादव, राहुल गांधी और कांग्रेस पर तीखा हमला भी बोला। उन्होंने बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर एनडीए की तैयारियों और जीत के विश्वास को भी खुलकर जताया।
अमित शाह ने मूसलाधार बारिश के बीच माता जानकी मंदिर की पहली ईंट रखी। इस अवसर को धार्मिक रंग देने के लिए आयोजन स्थल को नेपाल से मंगाए गए फूलों से सजाया गया था। भूमिपूजन के लिए देशभर के 21 तीर्थों की मिट्टी और 11 पवित्र नदियों का जल भी एकत्र किया गया। अयोध्या के हनुमान गढ़ी से विशेष ईंट मंगवाई गई, जिसे मंदिर की नींव में रखा गया।
जानकी मंदिर को 882 करोड़ रुपए की लागत से 50 एकड़ भूमि पर बनाया जाएगा। मंदिर की ऊंचाई 156 फीट होगी, जो कि अयोध्या के राम मंदिर से 5 फीट कम है। इसका निर्माण राजस्थान से मंगवाए गए विशेष बलुआ पत्थरों से किया जाएगा, जिससे इसकी भव्यता और पवित्रता को बरकरार रखा जा सके।
अपने भाषण में अमित शाह ने 'SIR' (Selective Inclusion of Residents) मुद्दे पर विपक्ष को आड़े हाथों लिया। उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जो भारत में जन्मा ही नहीं, उसे भारत की मतदाता सूची में नाम होने का कोई अधिकार नहीं। उनका आरोप था कि कांग्रेस और राजद जैसी पार्टियां घुसपैठियों को अपने वोट बैंक के तौर पर इस्तेमाल कर रही हैं और यही वजह है कि वे SIR जैसे प्रस्तावों का विरोध कर रही हैं।
शाह ने सवाल किया कि क्या लालू यादव और राहुल गांधी उन बांग्लादेशी घुसपैठियों को बचाना चाहते हैं, जो बिहार में आकर स्थानीय युवाओं की नौकरियों पर कब्जा कर रहे हैं? उन्होंने कहा कि जनता खुद तय करेगी कि ऐसे लोगों को वोटर लिस्ट से हटाया जाना चाहिए या नहीं।
गृहमंत्री शाह ने तेजस्वी यादव द्वारा उठाए गए मिथिलांचल विकास के सवाल पर जवाबी हमला बोला। उन्होंने खुद को "बनिए का बेटा" बताते हुए कहा कि वे पाई-पाई का हिसाब रखते हैं और यह जानना जरूरी है कि तेजस्वी के माता-पिता के शासनकाल में राज्य को क्या मिला- गुंडई, अपहरण और फिरौती के अलावा?
शाह ने चुनौती दी कि तेजस्वी खुद पुनौराधाम आकर बताएँ कि राजद सरकार ने मिथिलांचल के लिए क्या किया। इसके विपरीत, एनडीए सरकार ने इस क्षेत्र के लिए कई योजनाएं चलाईं और आज मंदिर निर्माण जैसे ऐतिहासिक कार्य हो रहे हैं।
शाह ने 'ऑपरेशन सिंदूर' का भी उल्लेख किया और कहा कि ये वही सरकार है जिसने आतंकियों को मुंहतोड़ जवाब दिया। कांग्रेस के शासनकाल में आतंकवादी हमले होते रहे, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होती थी। अब मोदी सरकार आतंकियों को उनके घर में घुसकर मारती है और यही कारण है कि विपक्ष के पास सवाल उठाने के अलावा कुछ नहीं बचा है।
उन्होंने दो टूक कहा कि यह नरेंद्र मोदी और एनडीए की सरकार है। यहां देश की सुरक्षा से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इस अवसर पर कहा कि केंद्र सरकार के बजट में बिहार को भरपूर समर्थन मिला है। उन्होंने कहा कि राज्य के हर जिले का दौरा कर वे विकास की समीक्षा कर रहे हैं और जहां भी कोई कमी दिख रही है, वहां योजनाएं चलाई जा रही हैं। 430 नई योजनाओं की स्वीकृति दी गई है, जिन पर करीब 50 हजार करोड़ रुपये खर्च होंगे।
नीतीश ने ऐलान किया कि राज्य में अब बिजली फ्री दी जाएगी। उन्होंने कहा कि पहले बिहार में कुछ नहीं था, लेकिन अब हर वर्ग के लिए काम हो रहा है।
अमृत भारत ट्रेन को दिखाई हरी झंडी
अमित शाह ने सीतामढ़ी दौरे के दौरान समस्तीपुर से दिल्ली के लिए चलाई गई 'अमृत भारत एक्सप्रेस' ट्रेन को भी हरी झंडी दिखाई। इस ट्रेन के शुरू होने से उत्तर बिहार से दिल्ली की दूरी और समय दोनों कम होंगे।
शाह और नीतीश कुमार का यह दौरा एक ओर जहां धार्मिक आस्था से जुड़ा रहा, वहीं दूसरी ओर इसमें आगामी विधानसभा चुनाव की सियासी झलक भी साफ दिखाई दी। शाह ने पूरी स्पष्टता से कहा कि बिहार में इस बार एनडीए स्पष्ट बहुमत से सरकार बनाएगा और घुसपैठियों को समर्थन देने वालों को जनता करारा जवाब देगी।