Mithilesh Yadav
13 Oct 2025
धर्म डेस्क। वैदिक ज्योतिष में पुष्य नक्षत्र को सभी 27 नक्षत्रों में राजा का दर्जा प्राप्त है। इसे नक्षत्रों का सम्राट भी कहा जाता है, क्योंकि इसकी शुभता अन्य सभी नक्षत्रों से अधिक मानी गई है। इस वर्ष दीपावली से पहले पुष्य नक्षत्र का अत्यंत मंगलकारी योग बन रहा है, जब खरीदारी और नए कार्यों की शुरुआत के लिए यह सबसे उत्तम समय रहेगा।
यह संयोग 14 और 15 अक्टूबर 2025 को बन रहा है। इस दौरान मंगल पुष्य और बुध पुष्य दोनों योग बनेंगे, जो धन, सफलता और सौभाग्य में वृद्धि के लिए बेहद लाभकारी माने गए हैं।
इस वर्ष पुष्य नक्षत्र 14 अक्टूबर मंगलवार को सुबह 11 बजकर 54 मिनट से प्रारंभ होगा और 15 अक्टूबर बुधवार दोपहर 12 बजे तक रहेगा। ज्योतिष के अनुसार, पुष्य नक्षत्र का स्वामी शनि ग्रह और इसके देवता बृहस्पति (गुरु) हैं। इसका प्रतीक “गाय का थन” है, जो पालन-पोषण, समृद्धि और स्थायित्व का प्रतीक माना गया है।
वैदिक ग्रंथों में पुष्य नक्षत्र को “सौ दोषों को दूर करने वाला नक्षत्र” कहा गया है। यह नक्षत्र व्यक्ति के जीवन में स्थिरता, सफलता और समृद्धि प्रदान करता है। इस दिन किए गए कार्यों में बाधाएं कम आती हैं और सफलता के योग कई गुना बढ़ जाते हैं। अगर कोई व्यक्ति नया व्यापार शुरू करना चाहता है, निवेश करना चाहता है या नया घर, वाहन या संपत्ति खरीदना चाहता है, तो पुष्य नक्षत्र का समय सबसे शुभ माना गया है।
इस बार पुष्य नक्षत्र के दौरान मंगल पुष्य योग और बुध पुष्य योग का शुभ संयोग बनेगा।
इन दोनों योगों के कारण 14 और 15 अक्टूबर की तिथियां खरीदारी और नए कार्यों की शुरुआत के लिए अत्यंत शुभ रहेंगी।
14 अक्टूबर 2025 (मंगलवार)
सुबह 11:54 से दोपहर 01:33 बजे तक
दोपहर 03:00 बजे से शाम 04:26 बजे तक
शाम 07:26 बजे से रात 09:00 बजे तक
15 अक्टूबर 2025 (बुधवार)
दोपहर 12:00 बजे तक
इन समयों के दौरान की गई खरीदारी या शुभ कार्यों की शुरुआत विशेष रूप से फलदायी मानी गई है।
ज्योतिष के अनुसार पुष्य नक्षत्र में निम्नलिखित चीजें खरीदना शुभ फल देता है-
इस बार पुष्य नक्षत्र ठीक दीपावली (20 अक्टूबर 2025) से पहले बन रहा है। ऐसे में जो लोग घर, वाहन या सोना-चांदी खरीदना चाहते हैं, उनके लिए यह नक्षत्र अत्यंत लाभकारी रहेगा। धार्मिक मान्यता है कि इस अवधि में की गई खरीदारी लंबे समय तक घर में सुख-समृद्धि बनाए रखती है।