
नई दिल्ली। केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने मेडिकल कॉलेज में एडमिशन के लिए 5 मई को आयोजित राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा-स्नातक (NEET-UG) के आयोजन में कथित गड़बड़ियों के संबंध में पहली एफआईआर दर्ज की है। रविवार को अधिकारियों ने बताया कि एजेंसी विभिन्न राज्यों में पुलिस द्वारा दर्ज मामलों को भी अपने दायरे में लाने के लिए कदम उठा रही है। यह प्राथमिकी केंद्र द्वारा एजेंसी को परीक्षा में कथित अनियमितताओं की जांच सौंपने की घोषणा के एक दिन बाद दर्ज की गई है।
अज्ञात व्यक्तियों पर मामला दर्ज
अधिकारियों ने बताया कि एजेंसी ने केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय की ओर से जारी एक संदर्भ के आधार पर अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 120-बी (आपराधिक साजिश) और 420 (धोखाधड़ी) के तहत एक नया मामला दर्ज किया है। वहीं CBI ने जांच के लिए दो स्पेशल टीम बनाई है, जो पटना और गोधरा जाएंगी। केंद्र सरकार ने 22 जून की रात जांच की जिम्मेदारी CBI को सौंपी थी। इससे पहले सरकार ने शनिवार रात 9 बजे NTA (नेशनल टेस्टिंग एजेंसी) के डायरेक्टर जनरल सुबोध कुमार सिंह को हटा दिया था। उनकी जगह प्रदीप सिंह खरोला को नया डीजी नियुक्त किया गया।
NTA में सुधार करने 7 सदस्यीय समिति बनी
केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) की कार्य प्रणाली को पारदशी और आसान बनाने के लिए 7 सदस्यीय समिति बनाने की घोषणा की। समिति के अध्यक्ष इसरो के पूर्व अध्यक्ष डॉ. के. राधाकृष्णन होंगे। समिति दो महीने की अवधि में मंत्रालय को अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। इस समिति में दिल्ली एम्स के पूर्व निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया, हैदराबाद केंद्रीय विवि के कुलपति प्रो. बीजे राव आदि हैं। NEET एग्जाम विवाद पर केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने 20 जून को प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसकी घोषणा की थी।
- डॉ. के राधाकृष्णन, चेयरमैन (पूर्व ISRO चीफ)
- डॉ. रणदीप गुलेरिया, मेंबर (AIIMS के पूर्व डायरेक्टर)
- प्रोफेसर बी जे राव, मेंबर, (VC-सेंट्रल यूनिवर्सिटी ऑफ हैदराबाद)
- प्रोफेसर रामामूर्ति, मेंबर (रिटायर्ड प्रोफेसर-IIT मद्रास)
- पंकज बंसल, मेंबर (को-फाउंडर-पीपुल स्ट्रॉन्ग, मेंबर-कर्मयोगी भारत)
- प्रोफेसर आदित्य मित्तल, मेंबर (स्टूडेंट अफेयर्स डीन-IIT दिल्ली)
- गोविंद जायसवाल, मेंबर (जॉइंट सेक्रेटरी-शिक्षा मंत्रालय)
छात्रों की मांग पर जांच CBI को सौंपी
परीक्षा 4,750 केंद्रों पर आयोजित की गई थी और इसमें करीब 24 लाख अभ्यर्थियों ने हिस्सा लिया था। मंत्रालय ने कथित अनियमितताओं की जांच के लिए कई शहरों में प्रदर्शन कर रहे छात्रों की मांग मानते हुए शनिवार को जांच सीबीआई को सौंप दी। शिक्षा मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “5 मई को आयोजित नीट-यूजी में कथित अनियमितता, धोखाधड़ी और कदाचार के कुछ मामले सामने आए हैं।” अधिकारी ने कहा, “एक समीक्षा के बाद परीक्षा प्रक्रिया के संचालन में पारदर्शिता के लिए यह निर्णय लिया गया कि मामले को व्यापक जांच के लिए केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) को सौंप दिया जाए।”
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