Mithilesh Yadav
15 Oct 2025
दीवाली से पहले सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर के लोगों को बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने ग्रीन पटाखों की बिक्री पर लगी रोक को 25 अक्टूबर तक हटा दिया है और पटाखे जलाने की इजाजत भी दी है। मुख्य न्यायाधीश भूषण रामकृष्ण गवई ने यह आदेश सुनाते हुए कहा कि कोर्ट ने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता और एमिकस क्यूरी के सुझावों पर विचार किया, जिन्होंने त्योहार के मौके पर लोगों और पटाखा उद्योग को राहत देने की सिफारिश की थी।
कोर्ट ने कहा – संतुलन जरूरी
सीजेआई गवई ने कहा कि ग्रीन पटाखों के अलावा दूसरे पटाखों की अवैध तस्करी चिंता का विषय है। इसलिए कोर्ट ने कहा कि हमें प्रदूषण और त्योहार दोनों के बीच संतुलित रवैया अपनाना होगा। कोर्ट ने यह भी बताया कि हरियाणा के 14 जिले NCR क्षेत्र में आते हैं, यानी राज्य का करीब 70 प्रतिशत हिस्सा पटाखों पर लगी रोक से प्रभावित हो रहा था।
किन्हें पटाखे बेचने की इजाजत मिली?
कोर्ट ने स्पष्ट किया कि पटाखों की बिक्री की छूट सिर्फ लाइसेंस प्राप्त उत्पादकों को ही दी गई है। ये वही उत्पादक होंगे जिनके पास NEERI (नेशनल इनवायरमेंटल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट) और PESO (पेट्रोलियम एंड एक्सप्लोसिव सेफ्टी ऑर्गनाइजेशन) की मंजूरी है। कोर्ट ने कहा कि अनधिकृत या नकली पटाखे बेचने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
कब और कितने समय तक जला सकते हैं पटाखे?
सुप्रीम कोर्ट ने तय किया है कि पटाखों की बिक्री 18 से 25 अक्टूबर तक ही की जा सकेगी। बिक्री सिर्फ निर्धारित स्थानों पर ही होगी। पेट्रोलिंग टीम यह सुनिश्चित करेगी कि केवल QR कोड वाले ग्रीन पटाखे ही बेचे जाएं। कोर्ट ने यह भी कहा कि दीवाली से पहले वाले दिन और दीवाली के दिन सुबह 6 से 7 बजे तक और शाम 8 से 10 बजे तक पटाखे जलाने की अनुमति होगी।
प्रदूषण और त्योहार – दोनों पर ध्यान
कोर्ट ने कहा कि पटाखों पर पूरी तरह रोक से दिल्ली-एनसीआर के प्रदूषण स्तर पर बड़ा फर्क नहीं पड़ा, इसलिए अब जरूरत है कि लोगों की भावनाओं और उद्योग से जुड़े रोजगारों को ध्यान में रखते हुए संतुलित निर्णय लिया जाए।