Aakash Waghmare
11 Nov 2025
इंदौर – दिल्ली में सोमवार शाम हुए कार ब्लास्ट और हरियाणा के फरीदाबाद से जब्त हुए 2,563 किलो विस्फोटक के मामले ने अब एक नया मोड़ ले लिया है। जांच में सामने आया है कि अल-फलाह यूनिवर्सिटी, जो इन दिनों आतंक साजिश के आरोपों को लेकर चर्चा में है, उसकी जड़ें मध्यप्रदेश के महू में हैं। आतंकी गतिविधियों में पकड़े गए मुजम्मिल शकील और उमर नबी मोहम्मद इसी यूनिवर्सिटी के छात्र बताए जा रहे हैं। इस विश्वविद्यालय को संचालित करने वाला अल-फलाह चैरिटेबल ट्रस्ट दरअसल महू निवासी जवाद अहमद सिद्दीकी ने स्थापित किया था। फिलहाल वही ट्रस्ट का अध्यक्ष और यूनिवर्सिटी का कुलाधिपति है।
आर्थिक गड़बड़ी के बाद परिवार समेत दिल्ली गया -
फरीदाबाद में स्थित इस यूनिवर्सिटी की शुरुआत एक इंजीनियरिंग कॉलेज से हुई थी। जांच में यह भी सामने आया है कि डॉ. मुजम्मिल, उमर मोहम्मद और शाहीन शाहिद पहले फरीदाबाद के अल-फलाह अस्पताल से जुड़े हुए थे।सूत्रों के अनुसार, जवाद ने सबसे पहले अल-फलाह इन्वेस्टमेंट कंपनी के नाम से कारोबार शुरू किया था। मुनाफे के लालच में लोगों से निवेश कराया, लेकिन 2001 में आर्थिक गड़बड़ी के बाद परिवार समेत दिल्ली चला गया और वहां कॉलेज की नींव रखी, जो बाद में विश्वविद्यालय में तब्दील हुआ।
20 साल पहले रहता था -
एडिशनल एसपी रूपेश द्विवेदी के मुताबिक, जवाद का परिवार महू के कायस्थ मोहल्ले में रहता था। उसके दो भाई भी यहीं पढ़े-लिखे हैं। पिता मोहम्मद हामिद सिद्दीकी महू के शहर काजी रह चुके हैं। फिलहाल पुलिस जवाद के स्थानीय रिश्तेदारों और पुराने संपर्कों की जानकारी जुटा रही है।