Mithilesh Yadav
12 Oct 2025
इंदौर में रविवार को किसानों ने भावांतर योजना को लेकर भव्य धन्यवाद रैली निकाली। दशहरा मैदान से कलेक्ट्रेट तक रैली निकालने की जगह इसे सुपर कॉरिडोर मैदान पर ही सीमित रखा गया, जहां बड़ी संख्या में किसान ट्रैक्टर लेकर पहुंचे। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने श्योपुर से वर्चुअल रूप से रैली में हिस्सा लेते हुए किसानों को संबोधित किया और कहा कि किसानों की खुशहाली सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है।
भावांतर योजना के प्रति आभार जताने के लिए रविवार को सुपर कॉरिडोर मैदान में किसानों का हुजूम उमड़ पड़ा। सैकड़ों ट्रैक्टरों के साथ किसानों ने रैली निकाली और भावांतर योजना के समर्थन में नारे लगाए। इस दौरान मैदान में किसान संगठन और बीजेपी के स्थानीय नेता मौजूद रहे।
सीएम मोहन यादव ने कहा कि किसानों की आय में कमी नहीं आने दी जाएगी। यदि बाजार में फसलों के दाम घटते भी हैं तो सरकार भावांतर के जरिए किसानों को उचित मूल्य देगी। उन्होंने कहा कि भावांतर योजना केवल भुगतान की व्यवस्था नहीं, बल्कि किसानों की आर्थिक सुरक्षा का कवच है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि सोयाबीन के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में 500 रुपए की वृद्धि की गई है। अब किसानों को 5328 रुपए प्रति क्विंटल के दर से समर्थन मूल्य मिलेगा। प्रदेशभर में लगभग 1700 पंजीयन केंद्र बनाए गए हैं, जहां 5 लाख से अधिक किसानों ने अपनी फसल का पंजीयन कराया है। अकेले इंदौर जिले में अब तक 35 हजार किसानों ने पंजीयन किया है। सीएम ने कहा कि पंजीयन की अंतिम तिथि 17 अक्टूबर रखी गई है और फसल बेचने के 15 दिन के भीतर भुगतान किया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने सभी जिला कलेक्टरों को निर्देशित किया कि वे मंडियों में मौजूद रहकर किसानों की सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित करें। उन्होंने किसानों से अपील की- ज्यादा से ज्यादा किसान सोयाबीन फसल का पंजीयन कराएं और जैविक खेती के लिए भी आगे आएं।
रैली में देपालपुर विधायक विशाल पटेल, राऊ विधायक मधु वर्मा और जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट ने कांग्रेस पर तीखे हमले बोले। मधु वर्मा ने कहा- कांग्रेस सरकार ने किसानों को डिफाल्टर बना दिया था, जबकि बीजेपी सरकार ने किसानों को लाभ की स्थिति में पहुंचाया है। बीजेपी जिला अध्यक्ष श्रवण सिंह चावड़ा ने बताया कि यह रैली किसानों की पहल पर आयोजित की गई थी और पार्टी ने केवल समर्थन दिया। उन्होंने शहरवासियों से अपील की कि वे ट्रैफिक के लिए वैकल्पिक मार्गों का उपयोग करें।
जहां एक ओर किसान रैली में सरकार के प्रति आभार व्यक्त कर रहे थे, वहीं भारतीय किसान संघ (BKS) ने भावांतर योजना पर सवाल उठाए। संघ के नगर अध्यक्ष दिलीप मुकाती ने कहा- 2018 में भी किसानों को प्याज की भावांतर राशि 29 करोड़ रुपए का भुगतान आज तक नहीं मिला है।”
उन्होंने सरकार से मांग की कि सोयाबीन का एमएसपी 5328 रुपए प्रति क्विंटल पर खरीदी की जाए। वर्तमान में मंडियों में दाम 3300 से 4200 रुपए प्रति क्विंटल चल रहे हैं।