इंदौर -- विजय नगर इलाके में जवान के अनुभव से लाखों की चोरी की 100 प्रतिशत रिकवरी में चोर ने एक ऐसी कहानी बताई हैं। जो किसी टीवी सीरियल जैसी लगती हैं। चोर ने अपनी चोरी तो कबूली लेकिन इसके पीछे की जो कहानी बताई वो भी बड़ी फिल्मी या कहे की किसी टीवी सीरियल सी लग रही हैं। चोर ने पकड़ाए जाने के बाद पुलिस से पूछा कि "जब भी मैं चोरी करता हूँ पकड़ा क्यों जाता हु । जिसके बाद पुलिस ने उसको उसी की भाषा में जवाब भी दिया।
थाना प्रभारी चंद्रकांत पटेल ने बताया कि स्कीम नंबर 78 में फरियादी जगदीश पंडा के घर चोरी के बाद पुलिस ने इस कैसे में 100 प्रतिशत रिकवरी हो चुकी हैं। आरोपी दीपक ने पर 19 अपराढ़ दर्ज हैं। पूरी घटना को लेकर को बताया कि वर्ष 2018 में अपने परिवार के साथ रोबोट चौरहे के समीप खजराना इलाके में रहता था। लेकिन गरीब परिवार के कारण उसकी माँ ने भोपाल में किसी व्यक्ति के साथ चली गई थी। जिसके बाद वो अपनी माँ से मिलने भोपाल की मदर इंडिया झुग्गी बस्ती में उससे मिलने गया था। भोपाल में रहते हुए उसने झुग्गी बस्ती में स्मैक पीना सिख लिया। लेकिन कुछ दिनों में वो नशे का काफी आदि हो गया। कुछ दिनों बाद वो भोपाल से इंदौर आया लेकिन उसे नशे की बहुत लत लग गई थी। दीपक ने कुछ समय बाद सुने मकानों में या नए बन रहे मकानों की नल व टोंटी चोरी करना शुरू किया। जिसे किसी भी कबाड़ी को वो बेच वो जो नशा मिलता उसे कर लिया करता था। लेकिन उसने जितने भी अपराध किए थे उस सभी में वो उसी में पकड़ा जाता था।
टोंटी चोरी करते करते कैसे लगा 25 लाख का सोना हाथ -
आरोपी दीपक ने पुलिस को बताया कि उस दिन जब उसने स्कीम नंबर 78 में वारदात को अंजाम दिया था। उस दिन घर को सुना देख वो घर में सिर्फ नल और टोंटियां चोरी करने के लिए ही गया था। लेकिन जैसे ही उसने घर के अंदर अलमारी देखी तो उसमें सोने व चांदी के इतने गहने देख वो आश्चर्य में रह गया। लगभग 55 मिनिट में वो घर के अंदर हो रहा पहले उसने यह सोचा नहीं था कि वो घर घुस कर सिर्फ पहले की तरह नल और टोंटी चोरी कर भाग जाएगा लेकिन सोने के आभूषण देख उसने चोरी कर अपनी बाइक से सीधे खंडवा के समीप खड़की गाँव अपने मामा के घर चले गया। मामा और मामी अकेले होने के कारण वो सोने को आसानी से छुपा सकता था।इसलिए वो इंदौर से अपने घर ना जाते हुए खंडवा भागा था।
कुछ घंटे देरी होती तो आरोपी सोने को लगा देता ठिकाने -
विजय नगर थाने के जवान द्वारा आरोपी की पहचान हुई तो थाने क स्टाफ उसे पकड़ने के लिए निकल गया था।आरोपी के पकड़ाए जाने के बाद उसने पुलिस को चोरी किए समान ई पूरी जानकारी तो दी ही सही लेकिन गिरफ्तार होने के बाद पुलिस को यह भी कहा कि पुलिस यदि कुछ घंटे देरी से उसे गिरफ्तार करती तो वो उसक सौदा कर चुका होता और वो जगह छोड़ देता। लेकिन उसके गाँव से फरार से पहले रात में ही पुलिस ने उसे खोज निकाला। वही पुलिस को आरोपी द्वारा की गई एक और वारदात का खुलासा हुआ हैं।