ग्वालियरताजा खबरभोपालमध्य प्रदेश

BJP में फिर ट्रबल, इस बार पूर्व मंत्री बब्बू ने खोला वीडी शर्मा के खिलाफ मोर्चा, बताया खुद की जान को खतरा, जबलपुर की लड़ाई पहुंची भोपाल

भोपाल । प्रदेश बीजेपी में चुनावी साल में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। चुनाव सेे पहले पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा ही विवादों से घिरते जा रहे हैं। प्रदेश बीजेपी में वरिष्ठ नेताओं के मोर्चा खोलने, सार्वजनिक नाराजगी जताने और कई नेताओं के पार्टी को अलविदा कह देने के बाद अब पूर्व मंत्री हरेंद्रजीत सिंह बब्बू ने प्रदेश बीजेपी संगठन के मुखिया वीडी शर्मा के खिलाफ बेहद गंभीर आरोप लगाए हैं। जबलपुर से नाता रखने वाले हरेंद्र ने चुनावों से पहले सीधे प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा पर गंभीर आरोप लगाकर सत्ताधारी दल में सनसनी फैला दी है। बब्बू ने पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष के खिलाफ न केवल गुटबाजी बढ़ाने के आरोप लगाए, बल्कि उन्होंने तो ये तक कह दिया कि वीडी  शर्मा से उन्हें जान का खतरा है।

जमकर निकाली भड़ास

हरेंद्रजीत सिंह ने खुलकर कहा कि प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा न केवल उनका जमकर अपमान कर रहे हैं बल्कि वे उनके खिलाफ साजिश भी रच रहे हैं। बब्बू ने साफ कहा कि वे इस मामले की शिकायत बीजेपी के शीर्ष नेतृत्व को करेंगे और अपने अपमान का बदला लेकर रहेंगे। बब्बू ने साफ कहा कि वीडी शर्मा की वजह से ही पार्टी रसातल में जा रही है और अब पार्टी नेतृत्व को इस पर गंभीरता से विचार करना चाहिए। इसके साथ ही उन्होने ये भी साफ कर दिया कि भले ही वीडी शर्मा संगठन के मुखिया हों, लेकिन वे दीपक जोशी की तरह पार्टी किसी हाल में नहीं छोड़ेंगे। बब्बू ने गुरुवार को भोपाल में पत्रकारों के सामने अपनी भड़ास निकालते हुए कहा कि कहा कि पार्टी में मेरे जैसे कई और लोग परेशान हैं, जिन्हें अब और ज्यादा परेशान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि वे इस मामले की शिकायत पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और गृह मंत्री अमित शाह को भी करेंगे।

तीन बार के विधायक पहचान को तरसे

जबलपुर पश्चिम सीट से 1998,2003 और 2008 में तीन बार जीतकर हैट्रिक बनाने वाले हरेंद्रजीत सिंह बब्बू प्रदेश सरकार में एक दफा राज्यमंत्री भी रहे। हालांकि 2013 और 2018 के चुनाव में वे कांग्रेस के प्रत्याशी तरुण भनोट से हार गए थे। बब्बू को एक समय महाकौशल का फायरब्रांड बीजेपी नेता माना जाता था। उन्होंने कई जन आंदोलनों में हिस्सा लिया है। हालांकि अब हालात बदल गए हैं। बब्बू फिलहाल पार्टी में अलग-थलग पड़े हैं। लगातार दो बार हार चुके जबलपुर पश्चिम की परंपरागत सीट से इस बार उन्हें टिकट मिलने की संभावना कम है। इसके साथ ही उन्हें विगत कुछ समय से पार्टी और सरकारी कार्यक्रमों में भी नहीं बुलाया जा रहा है।

ये है विवाद की इनसाइड स्टोरी

यहां से वीडी शर्मा अपने करीबी और युवा मोर्चा के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष अभिलाष पांडे को टिकट देना चाहते हैं। हालांकि महापौर चुनाव के दौरान भी वीडी , अभिलाष को ही टिकट देना चाहते थे, लेकिन केंद्रीय नेतृत्व के हस्तक्षेप के बाद संगठन ने डॉ जितेंद्र जामदार को टिकट दे दिया। हालांकि वे भी चुनाव हार गए थे। गौरतलब है कि वीडी शर्मा का विद्यार्थी परिषद के पदाधिकारी के रूप में जबलपुर में लंबा समय गुजरा है। उस समय वीडी शर्मा को स्थानीय जनप्रतिनिधि और संगठन पदाधिकारी तवज्जो नहीं देते थे।

अजय विश्नोई के मंत्री न बनने के पीछे भी वीडी

अजय विश्नोई के अब तक मंत्री न बन पाने के पीछे भी यही कारण माना जाता है। जब विश्नोई प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री थे उस समय एबीवीपी की तरफ से डीमेट एक्जाम निरस्त कराने को लेकर याचिका दाखिल करने वालों में वीडी शर्मा भी थे। उस समय तात्कालीन महाधिवक्ता रविनंदन सिंह के बंगले पर मीडिया से चर्चा के दौरान विश्नोई ने वीडी शर्मा पर भी टिप्पणी की थी। यही वजह है कि जब कमलनाथ की सरकार को गिराकर शिवराज ने दोबारा सत्ता संभाली, तो वरिष्ठ एवं सीएम के करीबी होने के बाद भी अजय विश्नोई को कैबिनेट में जगह नहीं मिली। गौरतलब है कि 1984 में जब शिवराज सिंह चौहान युवा मोर्चा के प्रदेश महासचिव थे, उस समय युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष अजय विश्नोई ही थे।

ये भी पढ़ें – पूर्व मंत्री दीपक जोशी ने ली कांग्रेस की सदस्यता, बोले- कांग्रेस कहेगी तो शिवराज के खिलाफ बुधनी से चुनाव लड़ूंगा

संबंधित खबरें...

Back to top button