कृषि कानून को लेकर के राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र ने बड़ा बयान दिया है। राज्यपाल मिश्र ने कानून वापस लेने पर पीएम नरेंद्र मोदी की सराहना की। साथ ही उन्होंने कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो दोबारा कानून बन सकता है। इससे पहले बीजेपी सांसद साक्षी महाराज ने कहा था कि बिल बनते हैं, बिगड़ते और फिर वापस आ जाते हैं। कलराज मिश्र का यह बयान किसानों का आंदोलन खत्म कराने में रोड़ा बन सकता है।
#WATCH | Bhadohi: Rajasthan Gov Kalraj Mishra says,"Govt tried to explain to farmers the pros of #FarmLaws. But they were adamant about repeal.Govt felt that it should be taken back&formed again later if needed but right now they should repeal as farmers are demanding…" (20.11) pic.twitter.com/3wHjXYaf2q
— ANI UP (@ANINewsUP) November 21, 2021
अभी समय अनुकूल नहीं है: कलराज मिश्र
दरअसल, कलराज मिश्र यूपी के भदोही में एक शादी समारोह में शामिल होने के लिए आए थे। यहां उन्होंने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी किसानों को उनके लिए बने तीनों कृषि कानूनों के बारे में नहीं समझा पाए, जिसके कारण किसान लगातार धरना प्रदर्शन करते रहे और सरकार ने बड़ी ही शालीनता से तीनों कानून वापस ले लिए। मिश्र ने कहा कि अभी समय अनुकूल नहीं है, आगे दोबारा कृषि बिल लाया जा सकता है। हालांकि, इसके साथ ही उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीनों कृषि कानूनों की वापसी के फैसले को अच्छा बताया। मिश्र ने कहा कि फिलहाल सरकार ने अच्छा कदम उठाया है। जिससे सभी को फायदा होगा।
कृषि कानूनों पर सांसद साक्षी महाराज ने भी दिया था बयान
गौरतलब है कि गुरू पर्व के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तीनों कृषि कानून वापस लेने की घोषणा की थी। बता दें कि इससे पहले उन्नाव में बीजेपी सांसद साक्षी महाराज ने कृषि कानूनों को लेकर बड़ा बयान दिया था। उन्होंने कहा था कि बिल बनते हैं, बिगड़ते और फिर वापस आ जाते हैं। उन्होंने कहा कि कृषि कानून वापस लेकर पीएम ने मंच से पाकिस्तान जिंदाबाद, खालिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाने वालों के गलत मंसूबों पर पानी फेर दिया है। पीएम ने राष्ट्र और बिल दोनों में से राष्ट्र को चुना है। वहीं सपा प्रमुख अखिलेश यादव समेत कई विपक्षी नेता भी कानून वापसी पर सरकार की मंशा पर सवाल उठा चुके हैं। उधर किसान संगठनों ने भी संसद में कानून वापसी नहीं होने तक आंदोलन समाप्त करने से इनकार कर दिया है।
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