Hemant Nagle
22 Dec 2025
Naresh Bhagoria
22 Dec 2025
Naresh Bhagoria
22 Dec 2025
महेश्वर। मध्य प्रदेश के खरगोन जिले के महेश्वर तहसील अंतर्गत करोली गांव से एक दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है, जिसने इंसानियत को झकझोर कर रख दिया। गांव में सोमवार सुबह एक नवजात बच्ची को जन्म के कुछ ही घंटों बाद प्लास्टिक की थैली में बंद कर झाड़ियों में फेंक दिया गया। गनीमत रही कि समय रहते ग्रामीणों को बच्ची की आवाज सुनाई दी और उसे सही समय पर अस्पताल पहुंचाया गया।
सोमवार सुबह लगभग 7 बजे गांव के परशराम गुर्जर को झाड़ियों से किसी के रोने की आवाज सुनाई दी। पास जाकर उन्होंने देखा तो एक थैली में लिपटी नवजात बच्ची तड़प रही थी। बच्ची की नाक और हाथों पर कीड़ों के काटने से गहरे घाव हो गए थे। यह दृश्य देख ग्रामीण स्तब्ध रह गए। तत्काल डायल 100 और 108 एम्बुलेंस को सूचना दी गई और बच्ची को प्राथमिक इलाज के लिए महेश्वर के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया।
महेश्वर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के बीएमओ डॉ. अतुल गौर ने बताया कि बच्ची का जन्म कुछ ही घंटे पहले हुआ है और उसका वजन केवल 1200 ग्राम है। प्राथमिक उपचार के बाद बेहतर चिकित्सा सुविधा के लिए उसे खरगोन जिला अस्पताल रेफर किया गया, जहां डॉक्टरों ने उसकी हालत स्थिर बताई है। फिलहाल उसे निगरानी में रखा गया है।
घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंची और अज्ञात व्यक्ति/व्यक्तियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है। बच्ची की मां और उसे फेंकने वालों की तलाश शुरू कर दी गई है। पुलिस आस-पास के अस्पतालों और नर्सिंग होम की जानकारी भी खंगाल रही है, ताकि यह पता चल सके कि हाल ही में किन-किन महिलाओं ने डिलीवरी कराई है।
घटना से गांव और आसपास के इलाकों में आक्रोश फैल गया है। ग्रामीणों का कहना है कि यह कृत्य केवल अमानवीय नहीं, बल्कि समाज के लिए शर्मनाक है। उन्होंने दोषियों को जल्द पकड़ने और सख्त सजा देने की मांग की है। स्थानीय सामाजिक संगठनों ने भी बच्ची की देखभाल और संरक्षण की जिम्मेदारी लेने की बात कही है।