वाराणसी। ज्ञानवापी के व्यास तहखाने में पूजा-पाठ जारी रहेगी। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की याचिका पर सुनवाई करते हुए पूजा पर रोक लगाने का आदेश नहीं दिया। हाईकोर्ट में दाखिल याचिका में मुस्लिम पक्ष ने डिस्ट्रिक्ट कोर्ट के ऑर्डर पर स्टे लगाने के साथ ज्ञानवापी के व्यासजी तहखाने में हो रही पूजा पर तत्काल रोक लगाने की मांग की थी। इस स्थगन याचिका पर फैसले देते हुए हाईकोर्ट ने कहा कि इसके लिए डिस्ट्रिक्ट कोर्ट द्वारा दिए गए ऑर्डर को चैलेंज करना होगा। इलाहाबाद हाईकोर्ट इस मामले पर आगामी सुनवाई 6 फरवरी को करेगा, तब तक मुस्लिम पक्ष को याचिका में संशोधन की मोहलत दी गई है। हाईकोर्ट द्वारा पूजा पर रोक लगाने की याचिका को मंजूर न होने से नाराज मुस्लिम पक्ष अब नए पैंतरे आजमा रहा है। अंजुमन इंतजामिया मस्जिद ने अब जुमे के दिन (शुक्रवार) बाजार बंद करने का फैसला लिया है। इसके बाद वाराणसी में मुस्लिम बाहुल्य बस्तियों के बाजार बंद रहे। हालांकि कहीं से भी किसी अप्रिय घटना की सूचना नहीं है। शहर के बाकी हिस्सों की बात करें तो वहां इस बंद का असर नहीं हुआ।
6 फरवरी को होगी अगली सुनवाई
वाराणसी कोर्ट के आदेश के बाद ज्ञानवापी के व्यासजी तहखाने में 31 साल बाद मूर्तियां रखकर पूजा अर्चना शुरू की गई थी। इस मामले में पूजा-पाठ की अनुमति देने के बाद कोर्ट ने एडवोकेट जनरल को लॉ एंड ऑर्डर मेंटेन रखने का आदेश भी दिया है। इससे पहले गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने व्यास तहखाने में पूजा-पाठ रोकने से जुड़ी याचिका पर तत्काल सुनवाई से इनकार कर दिया था। इसी के साथ सुप्रीम कोर्ट ने मुस्लिम पक्ष को पहले हाईकोर्ट जाने का सुझाव दिया था। इसके बाद मुस्लिम पक्ष ने इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की थी।
मुस्लिम पक्ष अब भी जिद पर अड़ा
संगठन की तरफ से जारी एक पत्र के मुताबिक मुस्लिम पक्ष ने हाईकोर्ट द्वारा स्टे न दिए जाने पर कड़ी नाराजगी जताई है। उन्होंने अपने पत्र में लिखा है कि ज्ञानवापी को लेकर भ्रम फैलाने वाले दावे किए गए हैं, जिस पर हम घोर आपत्ति जाहिर करते हैं। इसलिए जुमे की नमाज के दिन मुस्लिम समाज के लोग अपना कारोबार बंद रखेंगे और मस्जिद में दुआ करेंगे। इस मामले को लेकर मुस्लिम पक्ष दावा कर रहा है कि वहां 1993 से पहले पूजा पाठ करने के कोई सबूत नहीं है।
1700 लोग नमाज करने पहुंचे ज्ञानवापी
इससे पहले व्यास तहखाने में पूजा-पाठ शुरू होने से नाराज मुस्लिम पक्ष ने मस्जिदों में जुटने की अपील की थी। जिसके बाद जुमे की नमाज अदा करने 1700 लोग ज्ञानवापी जा पहुंचे। जबकि सामान्य दिनों में यहां 300 से 500 लोग ही पहुंचते थे। अंदर परिसर फुल होने के बाद पुलिस ने सुरक्षा व्यवस्था के चलते बाकी नमाजियों को बाहर ही रोक दिया।
पुलिस ने की बैरिकेडिंग
ज्ञानवापी की सुरक्षा को लेकर मिले निर्देश के बाद पुलिस हाई अलर्ट पर है। परिसर के नजदीक से गुजरने वाली सभी सड़कों की बैरिकेडिंग कर रोका जा रहा है। इसी के साथ ज्ञानवापी पर तैनात पुलिस कर्मियों अलर्ट रहने के निर्देश दिए गए हैं। वाराणसी कोर्ट के आदेश पर प्रतापगढ़ में भी अलर्ट जारी किया है। वहां संवेदनशील इलाकों में मजिस्ट्रेट और सम्बंधित थाना प्रभारी जुमे की नमाज के दौरान गश्त कर रहे हैं। जिले के एसपी भी भारी पुलिस बल के साथ पैदल गश्त पर निकले। इस दौरान धार्मिक स्थलों के नजदीक घूम रहे संदिग्धों की तलाशी भी ली गई। शहर की जामा मस्जिद समेत सभी मस्जिदों के बाहर पुलिस बल तैनात किया गया।
व्यास तहखाने में हुई पूजा
शुक्रवार को भी व्यास तहखाने में स्थापित विग्रह की पूजा की गई। सुबह 3:30 बजे मंगला आरती संपन्न हुई। अदालत का फैसला आने के बाद अब ज्ञानवापी परिसर शहर का एक बड़ा धर्मस्थल बन गया है। जो भी श्रद्धालु काशी विश्वनाथ का दर्शन कर रहे हैं, वे व्यास जी तहखाने के भी 20-22 फीट दूर से दर्शन कर रहे हैं। इसके चलते अब परिसर के आस-पास खूब भीड़ हो रही है।
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