यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) ने सितंबर में एक बार फिर रिकॉर्ड तोड़ते हुए 20.64 लाख करोड़ रुपए के ट्रांजैक्शन को पार कर लिया है। भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) के ताजा आंकड़ों के मुताबिक, एनुअल बेस्ड यूपीआई ट्रांजैक्शन की वैल्यू में 31 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। यूपीआई लेनदेन की संख्या में भी 42 प्रतिशत की बढ़त हुई है, जो सितंबर में 15.04 अरब तक पहुंच गई। लोग अब छोटे लेनदेन की प्रक्रिया में यूपीआई को सबसे अधिक वरीयता देने लगे हैं।
प्रतिदिन औसत लेनदेन में इजाफा
जहां अगस्त में यूपीआई पर प्रतिदिन औसतन 48.3 करोड़ ट्रांजैक्शन हुए थे, वहीं सितंबर के महीने में यूपीआई पर प्रतिदिन औसतन 50.1 करोड़ लेनदेन हुए। सितंबर में प्रतिदिन औसतन लेनदेन की वैल्यू 68,800 करोड़ रुपए रही, जबकि अगस्त में यह 66,475 करोड़ रुपए थी। बता दें, लगातार पिछले पांच महीने से मासिक यूपीआई लेनदेन की वैल्यू 20 लाख करोड़ रुपए से ऊपर बनी हुई है।
AEPS और IMPS से भी बढ़े लेनदेन
सितंबर में आधार आधारित पेमेंट सिस्टम (एईपीएस) से 24,134 करोड़ रुपए की वैल्यू के तकरीबन 10 करोड़ लेनदेन हुए। इसके साथ ही इमीडिएट पेमेंट सर्विस (आईएमपीएस) के माध्यम से भी 5.65 लाख करोड़ रुपए का लेनदेन किया गया, जो सालाना आधार पर 11 प्रतिशत अधिक है। प्रतिदिन औसतन 1.4 करोड़ आईएमपीएस लेनदेन किए गए, जिनकी औसत वैल्यू 18,841 करोड़ रुपए रही। सितंबर में फास्टैग कलेक्शन में 10 फीसदी के साथ कुल 5620 करोड़ रुपए कलेक्ट किए गए। इस दौरान 7 फीसदी वृद्धि के साथ कुल 31.8 करोड़ ट्रांजैक्शन फास्टैग ट्रांजैक्शन किए गए।
छोटे लेनदेन के लिए यूपीआई पसंदीदा
वर्ल्डलाइन इंडिया के इनोवेशन, स्ट्रेटेजी और एनालिटिक्स प्रमुख सुनील रोंगला ने बताया कि पिछले तीन महीनों में यूपीआई लेनदेन की संख्या में जिस तेजी से वृद्धि आई है, यह दर्शाता है कि छोटे लेनदेन के लिए यूपीआई लोगों की पहली पसंद बन रही है।
One Comment