
बर्मिंघम में खेले जाने वाले कॉमनवेल्थ गेम्स की तैयारियों को लेकर और भारतीय खिलाड़ियों के रवाना होने से पहले बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सभी खिलाड़ियों से वर्चुअल बातचीत की और उनका हौंसला बढ़ाया। उन्होंने खिलाड़ियों से पूरी ताकत से, जी जान लगाकर, बिना किसी प्रेशर के खेलने की सलाह दी है। पीएम मोदी ने सबसे पहले एथलेटिक्स में हिस्सा ले रहे अविनाश साबले से बातचीत की। जिसके बाद पीएम ने कहा कि ‘कोई नहीं है टक्कर में, कहां पड़े हो चक्कर में।
PM ने महिला हॉकी खिलाड़ी से उनके संघर्ष के बारे में पूछा
झारखंड की महिला हॉकी खिलाड़ी सलीमा टेट से पीएम मोदी ने उनके संघर्ष के बारे में पूछा। इस पर सलीमा टेट ने कहा कि मैं एक गांव से हूं और मेरे पापा भी पहले हॉकी खेलते थे। वो कहीं खेलने जाते थे तो मैं उनके साथ साइकिल पर जाती थी और बैठकर देखती थी कि कैसे गेम होता था। मैंने पापा से ही सीखा है कि संघर्ष करने से कुछ भी मिल सकता है।
जब PM ने डेविड बेकहम से पूछा- आपको मोटिवेशन कहां से मिलता है ?
डेविड बेकहम अंडमान से आते हैं, जो साइकिलिंग में भारत का प्रतिनिधित्व करते हैं। पीएम मोदी ने इस खिलाड़ी से पूछा कि आप खुद को कैसे मोटिवेट करते हैं ? इस पर बेकहम ने कहा कि उनके दोस्त इसके लिए काफी मोटिवेट करते हैं। डेविड ने पीएम मोदी की जमकर सराहना करते हुए कहा कि मुझे खुशी हुई कि आपने मन की बात में मेरा जिक्र किया था और अंडमान निकोबार के बारे में बताया था। इस दौरान पीएम मोदी ने डेविड के परिवार को प्रणाम करते हुए उनकी जमकर तारीफ की।
साथ मिलकर मनाएंगे जीत का जश्न : PM
पीएम मोदी ने खिलाड़ियों से कहा कि आप सभी ने टोक्यो ओलिंपिक में शानदार प्रदर्शन किया है। मैं दोनों हॉकी टीमों को बधाई दूंगा। मस्ती से खेलिए… सभी लोग सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेंगे तो पदक हर हाल में आएगा। उन्होंने कहा कि आप लोग भारतीय खेलों के सबसे अहम दौर में हैं। आज आपके पास सुविधाएं भी हैं, देश में खेल का माहौल भी है। आपका प्रदर्शन भविष्य के खिलाड़ियों को प्रेरणा देगा। पीएम मोदी ने आगे कहा कि जब आप लोग लौटोगे तो आपकी जीत का जश्न साथ मिलकर मनाएंगे।
PM मोदी की बड़ी बातें
- खिलाड़ियों से वर्चुअल बातचीत करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि जो 65 से ज्यादा एथलीट पहली बार इस टूर्नामेंट में हिस्सा ले रहे हैं, मुझे विश्वास है कि वो भी अपनी जबरदस्त छाप छोड़ेंगे। आप लोगों को क्या करना है, कैसे खेलना है, इसके आप एक्सपर्ट हैं।
- मैं बस यही कहूंगा कि जी भर के खेलिएगा, जमकर खेलिएगा, पूरी ताकत से खेलिएगा और बिना किसी टेंशन के खेलिएगा।
- आज का ये समय भारतीय खेलों के इतिहास का एक तरह से सबसे महत्वपूर्ण कालखंड है। आज आप जैसे खिलाड़ियों का हौसला भी बुलंद है, ट्रेनिंग भी बेहतर हो रही है और खेल के प्रति देश में माहौल भी जबरदस्त है। आप सभी नए शिखर चढ़ रहे हैं, नए शिखर गढ़ रहे हैं।
- जो पहली बार बड़े अंतर्राष्ट्रीय मैदान पर उतर रहे हैं, उनसे मैं कहूंगा कि मैदान बदला है, आपका मिजाज नहीं, आपकी जिद नहीं। लक्ष्य वही है कि तिरंगे को लहराता देखना है, राष्ट्रगान की धुन को बजते सुनना है। इसलिए दबाव नहीं लेना है, अच्छे और दमदार खेल से प्रभाव छोड़ना है।
कब शुरू हो रहे हैं कॉमनवेल्थ गेम्स ?
बर्मिंघम में कॉमनवेल्थ गेम्स 28 जुलाई से शुरू हो रहे हैं। 72 देशों के 5 हजार से ज्यादा खिलाड़ी हिस्सा लेने वाले हैं, जिसमें भारतीय दल के भी 215 खिलाड़ी भाग लेते नजर आएंगे।