भोपालमध्य प्रदेश

MP में बारिश ने मचाई तबाही… भोपाल में बावड़ियाकलां इलाके के कई घरों में भरा पानी, 18 परिवार फंसे; अशोकनगर में कार समेत 5 बहे, सरपंच की मौत

मध्यप्रदेश में लगातार हो रही बारिश से हाल बेहाल हो गए हैं। राजधानी भोपाल में 10 इंच से ज्यादा बारिश हो चुकी है। शहर के बावड़ियाकलां इलाके के इंडस एम्पायर में पानी भर गया। कई घरों की पहली मंजिल डूबने से यहां के 40 मकानों में 18 परिवार फंसे हुए हैं। राफ्ट की मदद से टीम यहां रेस्क्यू कर रही है। मौसम विभाग ने प्रदेश के कई जिलों में भारी से अति भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है।

तेज बहाव में कार सहित 5 लोग बहे

अशोकनगर में कार समेत 5 लोग बह गए। जिससे कार में सवार सरपंच की मौत हो गई, वहीं एक व्यक्ति लापता है। बाकी, तीन लोगों ने पेड़ों को पकड़कर अपनी जान बचा ली है। दरअसल, ये सभी लोग भोपाल से समाज के कार्यक्रम से लौट रहे थे। तभी अचानक सावन गांव के रपटा के पास तेज बहाव में कार बह गई।

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विदिशा में स्टॉप डैम फूटा

विदिशा जिले के लटेरी ब्लॉक के अंतर्गत आने वाले इस्लाम नगर में बना डैम भारी बारिश के चलते फूट गया है। डैम के फूटने के बाद पानी के कहर ने 6 से 7 गांव की फसलें बर्बाद कर दी हैं। वहीं, आसपास के ग्रामीणों को सुरक्षित स्थान पर भेजा गया है। बता दें कि खेतों में बने घरों में रखे पाईप बह गए हैं। हालांकि, बांध के फूटने से कोई जनहानि नहीं हुई है।

नरसिंहगढ़ में टूटी तालाब की पाल

राजगढ़ जिले की नरसिंहगढ़ तहसील में स्थित हैदापुरा तालाब की पाल टूट गई है। इससे लक्ष्मणपुरा व हैदापुरा के लोग गांव छोड़कर चले गए हैं। जबकि, डैम के पास स्थित गांव पांजरा व पांजरी में लोग फंसे हुए हैं, क्योंकि दोनों गांवों के चारों तरफ के रास्ते भारी बारिश के कारण बंद हैं।

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गुना में 20 घंटे टापू पर फंसे रहे तीन ग्रामीण

गुना जिले में पिछले तीन दिन से लगातार बारिश का दौर जारी है। पिछले 24 घंटों में 7 इंच से ज्यादा बारिश दर्ज की गई है। बमोरी इलाके के पीपल्या गांव में रविवार को भैंस चराने गए 3 ग्रामीण टापू पर फंस गए। अचानक पानी बढ़ने से वह चारों तरफ से घिर गए। बता दें कि करीब 20 घंटों तक वह टापू पर फंसे रहे। सूचना मिलने पर प्रशासन और SDERF की टीम भी मौके पर पहुंच गई थी, लेकिन रविवार को अंधेरा हो जाने और पानी ज्यादा होने से रेस्क्यू नहीं हो पाया।

हालांकि, प्रशासन ने उन्हें एयरलिफ्ट करने के लिए गृह विभाग को मदद के लिए पत्र भी भेज दिया था। सोमवार सुबह पानी थोड़ा कम हुआ तो SDERF ने अपनी बोट उतार दी। ग्रामीण एक किमी अंदर फंसे हुए थे। टीम किसी तरह ग्रामीणों तक पहुंची और सकुशल रेस्क्यू कर लिया।

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