जंगली जीवों में सबसे खूबसूरत और चालाक होती हैं लोमड़ी। वो बड़े से बड़े और छोटे से छोटे जानवर को अपनी बुद्धी के बल पर मूर्ख बना लेती है। लेकिन हाल ही में कनाडा में एक दुर्लभ लोमड़ी देखने को मिली, जिसका रंग काला और भूरा था।
इस बीमारी से पीड़ित है ये लोमड़ी
जीव विज्ञानियों के अनुसार जिस तरह त्वचा के रंगों के पिगमेंट कम होने पर अल्बेनिज्म यानी ज्यादा हल्के रंग के या सफेद रंग के जीव पैदा होते हैं। उसी तरह त्वचा पर ज्यादा गहरे रंग का पिगमेंटेशन हो तो उसे मिलैनिज्म कहते हैं। इसलिए इस लोमड़ी को मिलैनिस्टिक लोमड़ी बुलाया जा रहा है।
मिलैनिस्टिक लोमड़ी को आमतौर पर क्रॉस फॉक्स बुलाई जाती हैं। नॉर्थ अमेरिका के उत्तरी भाग खासकर कनाडा में ये लोमड़ी सबसे ज्यादा पाई जाती है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक इन क्रॉस फॉक्स को उनके फर के लिए सालों पहले तक इस्तेमाल किया जाता था।
जंगली जीवों के विषय में अध्ययन करने वाले जानकार बताते है कि ‘अब क्रॉस फॉक्स आसानी से नहीं दिखाई देती हैं, पुराने समय में इनकी संख्या ज्यादा हुआ करती थी, लेकिन 20वीं शताब्दी की शुरूआत में इनके फरों की मांग ज्यादा होने से इनका शिकार ज्यादा होने लगा और इनकी संख्या घटती चली गई। अब ये लगभग विलुप्त हो चुकी हैं।
इस प्रजाति की लोमड़ियां बहुत चतुर होती हैं, ये किसी का भी खाना खा लेती हैं। इन्हें सबसे ज्यादा मांसाहारी खाना पसंद होता है, लेकिन ये फल-फूल भी खा लेती हैं। चूहा इनका पसंदीदा शिकार होता है।
ये लोमड़ियां आमतौर पर अपना जीवन एक ही साथी के साथ बिताती हैं। इनके प्रजनन का समय दिसंबर से अप्रैल का होता है। लेकिन साथी से संबंध बनाने के लिए यह जनवरी से फरवरी महीने का उपयोग करते हैं।
इस प्रजाति की लोमड़ी अपनी मौजूदगी के लिए एक खास तरह का गंध छोड़ती हैं। इस गंध से समूह की सारी लोमड़ियां एक दूसरे को पहचान लेती हैं। ये लोमड़ी इसी गंध के कारण ही दूसरी लोमड़ी की ताकत का अंदाजा लगा लेती हैं।