
लाहौर। भारत के मोस्ट वांटेड आतंकवादी और प्रतिबंधित आतंकी संगठन जमात-उद-दावा के उप प्रमुख अब्दुल रहमान मक्की की शुक्रवार को लाहौर में मौत हो गई। मक्की लंबे समय से बीमार था और एक निजी अस्पताल में उसका इलाज चल रहा था। शुक्रवार सुबह उसे दिल का दौरा पड़ा, जिसके बाद उसकी मौत हो गई।
पारिवारिक सूत्रों ने दी जानकारी
अब्दुल रहमान मक्की के परिवार ने बताया कि उसकी मौत के बाद जनाजे की नमाज शुक्रवार शाम 5:15 बजे पढ़ी जाएगी। मक्की को लाहौर में दफनाया जाएगा। मक्की जमात-उद-दावा का डिप्टी चीफ और मुंबई हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद का करीबी रिश्तेदार था।
20 लाख अमेरिकी डॉलर का थी इनाम
मुंबई पर 2008 में हुए आतंकी हमलों के बाद संयुक्त राष्ट्र ने मक्की पर प्रतिबंध लगाते हुए उसे अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी घोषित किया था। इन हमलों में 166 लोगों की मौत हुई थी और अजमल कसाब को जिंदा पकड़ा गया था। मक्की पर आतंकियों को धन और संसाधन उपलब्ध कराने का आरोप था। अमेरिका ने मक्की पर 20 लाख डॉलर का इनाम रखा था।
पाकिस्तान की कोर्ट ने दी थी सजा
साल 2020 में पाकिस्तान की एंटी टेररिज्म कोर्ट ने मक्की को आतंकी फंडिंग के मामले में 6 महीने की सजा सुनाई थी। इसके बाद से वह लो प्रोफाइल बनाए हुए था और सार्वजनिक कार्यक्रमों में बहुत कम नजर आता था। जमात-उद-दावा ने मक्की की मौत की पुष्टि करते हुए कहा कि वह पाकिस्तान की विचारधारा का समर्थक था। हालांकि, मक्की को भारत में आतंकवाद के प्रमुख चेहरों में से एक माना जाता था।
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