
मध्यप्रदेश में बढ़ते लंपी वायरस के मामलों को लेकर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बुधवार को मंत्रालय में वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक बुलाई। इस दौरान सीएम ने लंपी वायरस की रोकथाम को लेकर किए जा रहे प्रयासों के संबंध में समीक्षा की एवं आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। बैठक में मुख्य सचिव, एसीएस पशुपालन, पीएस मुख्यमंत्री समेत संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद रहे।
MP में 101 गोवंश ने दम तोड़ा
सीएम शिवराज को अफसरों ने जानकारी दी कि प्रदेश के 26 जिलों में 7686 गोवंश लंपी वायरस से प्रभावित हैं। 5432 गोवंश ठीक भी हो चुके हैं। अब तक 101 गोवंश की मौत हुई है। सबसे ज्यादा 17 गायों ने खंडवा में दम तोड़ा है।

पशुपालकों को वायरस से बचाव की जानकारी दें
सीएम शिवराज ने कहा कि लंपी वायरस से बचाव के उपायों की जानकारी पशुपालकों को दें। ग्राम सभा बुलाकर भी सूचित करें। उन्होंने गौ शालााओं में टीकाकरण तेज करने के निर्देश भी दिए हैं।
संक्रमित पशुओं का आवागमन प्रतिबंधित करें
सीएम शिवराज ने कहा कि इस बीमारी को गंभीरता से लें, छिपाए नहीं। संक्रमित पशुओं का आवागमन प्रतिबंधित करें। जागरूकता अभियान चलाएं।

पशुपालकों से सीएम की अपील
सीएम ने पशुपालकों से अपील की है कि पशुओं में लंपी स्किन रोग के लक्षण दिखाई देने पर तुरंत निकटतम पशु औषधालय, पशु चिकित्सालय में संपर्क करें। इसके साथ ही सीएम ने कहा कि जैसे हम कोरोना के खिलाफ लड़े थे वैसे ही पशुओं का जीवन बचाने के लिए हम लंपी वायरस से भी लड़ेंगे।
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टोल फ्री नंबर जारी
सीएम शिवराज के निर्देश पर लंपी वायरस पर कंट्रोल के लिए भोपाल में स्टेट लेवल का कंट्रोल रूम बनाया गया है। पशुपालक टोल फ्री नंबर 1962 और 0755-2767583 पर जानकारी दे सकते हैं।
कहां-कितनी गायों ने लंपी वायरस से दम तोड़ा
जिले का नाम | लंपी से मृत गायों की मौत की संख्या |
खंडवा | 17 |
नीमच | 15 |
मंदसौर | 15 |
बैतूल | 13 |
उज्जैन | 10 |
बुरहानपुर | 10 |
अलीराजपुर | 7 |
रतलाम | 7 |
हरदा | 2 |
झाबुआ | 2 |
भिंड | 1 |
इंदौर | 1 |
क्या है लंपी वायरस ?
पशु चिकित्सकों के मुताबिक, लंपी वायरस में जानवरों में बुखार आना, आंखों एवं नाक से स्राव, मुंह से लार निकलना, शरीर में गांठों जैसे नरम छाले पड़ना, दूध उत्पादन में कमी आना जैसे लक्षण दिखते हैं। इसके अलावा इस रोग में शरीर पर गांठें बन जाती हैं। गर्दन और सिर के पास इस तरह के नोड्यूल ज्यादा दिखाई देते हैं। बीमारी का पशुओं से मनुष्यों में ट्रांसफर होने की संभावना न के बराबर है।
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इसलिए खतरनाक है ये बीमारी
लंपी वायरस इसलिए बेहद खतरनाक है क्योंकि, पशुओं के संक्रमित होने के लगभग 6 से 7 दिन बाद इस वायरस के लक्षण दिखाई देते हैं। तब तक संक्रमित पशु के संपर्क में आने से अन्य पशु भी संक्रमित हो जाते हैं। यही कारण है कि लंपी वायरस को लेकर सतर्क रहने की आवश्यकता है।