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छत्तीसगढ़ में राजनीतिक हलचल जारी : किसके सिर सजेगा ताज… जल्द ही खत्म होगा सस्पेंस, उठेगा मुख्यमंत्री के नाम से पर्दा

रायपुर। छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री के नाम को लेकर राजनीतिक हलचल जारी है। भाजपा ने छत्तीसगढ़ के लिए केंद्रीय जनजातीय मंत्री अर्जुन मुंडा, सर्वानंद सोनोवाल और पार्टी महासचिव दुष्यंत कुमार गौतम को केंद्रीय पर्यवेक्षक नियुक्त किया है। सभी केंद्रीय पर्यवेक्षक आज दोपहर 3 बजे तक रायपुर पहुंचेंगे। इसके बाद कल सुबह 11 बजे कुशाभाऊ ठाकरे परिसर में बीजेपी विधायक दल की बैठक होगी। इस बैठक में विधायकों से रायशुमार करने के बाद मुख्यमंत्री के नाम पर मुहर लगाई जाएगी।

मुख्यमंत्री की रेस में ये नाम हैं शामिल

राजनीतिक गलियारों में मुख्यमंत्री की रेस में कई नाम शामिल हैं। जैसे की विष्णुदेव साय, गोमती साय, रेणुका सिंह, डॉक्टर रमन सिंह, ओपी चौधरी और अरुण साव। इन सबके अलावा महाराष्ट्र के राज्यपाल रमेश बैस, आरएसएस से जुड़े नेता डॉ. पूर्णेन्दु सक्सेना का नाम भी चर्चा में बना हुआ है। अब देखना ये होगा कि, आलाकमान किसे सीएम की कुर्सी पर बैठाकर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री का ताज पहनाते हैं।

रमन-साव-साय का नाम सबसे आगे

पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, छत्तीसगढ़ के 3 बार मुख्यमंत्री रह चुके हैं। 15 वर्ष के कार्यकाल में रमन सरकार ने विकास कार्यों को ही चुनाव में अपना विकास रूपी मुद्दा बनाया था। भविष्य की राजनीति को ध्यान में रखते हुए भाजपा किसी आदिवासी या ओबीसी समुदाय के नेता को मुख्यमंत्री बना सकती है। इसलिए छत्तीसगढ़ के भाजपा अध्यक्ष अरुण साव का नाम सीएम की रेस में शामिल है। अरुण साव अन्य पिछड़ा वर्ग समाज (ओबीसी) से एक बड़ा चेहरा हैं, साथ ही छत्तीसगढ़िया छवि के लिए भी जाने जाते हैं।

प्रदेश में आदिवासी चेहरे की भी मांग उठती रही है, ऐसे में सरगुजा संभाग से पूर्व केंद्रीय मंत्री व भाजपा के पूर्व केंद्रीय मंत्री विष्णुदेव साय और महिला मुख्यमंत्री के रूप में केंद्रीय राज्यमंत्री रेणुका सिंह भी मुख्यमंत्री पद के लिए प्रबल दावेदार माने जा रहे हैं। चुनाव में यूथ आइकॉन ने भी अहम किरदार निभाया है। इसलिए ओबीसी के युवा व सशक्त चेहरे के रूप में ओपी चौधरी का नाम सीएम के लिए आगे आ रहा है। इनमें से किसी एक को उप मुख्यमंत्री भी बनाया जा सकता है।

13 दिसंबर को होगी शपथ ग्रहण

नए मुख्यमंत्री का इंतजार पूरे प्रदेश को है। सूत्रों के मुताबिक, 13 दिसंबर को छत्तीसगढ़ के नवनियुक्त मुख्यमंत्री शपथ लेंगे। इस शपथ ग्रहण समारोह में देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा शर्मा, पार्टी के प्रदेश प्रभारी सहित कई दिग्गज नेता शामिल होंगे।

लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखकर तय होगा नाम

2024 में लोकसभा चुनाव होने वाले हैं। छत्तीसगढ़ में ऐसे नेता को मुख्यमंत्री बनाया जाएगा, जिसकी छवि 2024 की राह में किसी तरह की अड़चन पैदा न करें। पार्टी में उस चेहरे को प्राथमिकता दी जाएगी जो बेदाग हो और किसी भी विवादों में शामिल न हो। पार्टी ऐसा चेहरा चाहती है जो चमक-धमक में फंसने के बजाय प्रदेश में काम करने पर ज्यादा फोकस करे।

छत्तीसगढ़ में बीजेपी की प्रचंड जीत

बीजेपी ने छत्तीसगढ़ में अपनी प्रचंड जीत से सबको चौंका दिया है। छत्तीसगढ़ की 90 सीटों में से बीजेपी ने 54 सीटें जीतीं हैं। जैसे प्रदेश के लोगों ने छत्तीसगढ़ में बीजेपी को जिताकर चौंका दिया है, वैसे ही क्या अब बीजेपी छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर चौंकाने वाली है। क्योंकि दिल्ली में केंद्रीय नेतृत्व की ताबड़तोड़ बैठकें चल रही हैं। साथ ही भाजपा के प्रदेश प्रभारी ओम माथुर ने चुनाव के दौरान बयान दिया था कि, मुख्यमंत्री का नाम एकदम नया होगा। ओम माथुर ने कहा था कि, “मुख्यमंत्री के लिए जो नाम चुना जाएगा, वह एकदम नया नाम होगा, वह नाम संसदीय दल तय करने वाली है।”

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