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सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में नाइट सफारी में बाघिन 4 शावकों के साथ दिखी, सैलानियों ने कैमरे में कैद किया नजारा

सोहागपुर। सतपुड़ा टाइगर रिजर्व (एसटीआर) में वाइल्डलाइफ की रौनक दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है। बेहतर वाइल्डलाइफ मैनेजमेंट और मॉनिटरिंग के चलते अब यहां टाइगर्स की संख्या 70 से अधिक हो चुकी है। रिजर्व के कोर और बफर इलाकों में बाघों की सक्रियता लगातार देखी जा रही है, जिससे पर्यटकों की दिलचस्पी भी तेजी से बढ़ रही है।

मादा बाघिन अपने चार शावकों के साथ नजर आई

बीते शुक्रवार की रात को बागरा बफर ज़ोन के जमानी देव इलाके में एक मादा टाइगर अपने चार नन्हें शावकों के साथ नाइट सफारी के दौरान पर्यटकों को दिखाई दी। इस दुर्लभ नज़ारे को सैलानियों ने अपने कैमरे में कैद कर लिया। यह दृश्य न सिर्फ रोमांचकारी था, बल्कि इस बात का प्रमाण भी कि बाघों की संख्या सतपुड़ा में सुरक्षित रूप से बढ़ रही है।

टाइगर के साथ मौजूद है समृद्ध जैव विविधता

सतपुड़ा टाइगर रिज़र्व का इलाका 10 अलग-अलग रेंजों में फैला है, जिनमें कामती, बागरा, मटकुली, चूरना, पिपरिया, पचमढ़ी, बोरी और तवा बफर शामिल हैं। यहां टाइगर के अलावा बायसन, तेंदुआ, भालू, सांभर, चीतल, नीलगाय, जंगली कुत्ते, बारहसिंगा, विविध पक्षी और रंग-बिरंगी तितलियां भी पाई जाती हैं।

पर्यटन को बढ़ावा देने बनाए गए हैं सब-स्टेशन

पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए एसटीआर प्रबंधन ने परसा पानी, विनेका और जमानी देव में तीन सब-स्टेशन विकसित किए हैं। इन इलाकों में रात 10 बजे तक सफारी की अनुमति दी गई है, जिससे नाइट सफारी का रोमांच कई गुना बढ़ गया है।

बाघों की तादाद में तेजी से हो रहा इजाफा

एसडीओ अंकित जामोद ने बताया कि सतपुड़ा में बाघों की तादाद लगातार बढ़ रही है। परसा पानी और विनेका इलाकों में भी टाइगर के जोड़े देखे गए हैं। उनका कहना है कि मॉनिटरिंग सिस्टम और फॉरेस्ट गार्ड्स की सक्रियता से यह संभव हुआ है।

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