
भोपाल। राजधानी से करीब 22 किलोमीटर की दूर स्थित गांव इस्लामनगर का नाम बदलकर जगदीशपुर किया गया है। नाम परिवर्तन के बाद मंगलवार को इस गांव में जश्न मनाया जा रहा है। सीएम शिवराज सिंह चौहान इस गांव में आयोजित कार्यक्रम में शामिल हुए। 308 साल बाद वापस जगदीशपुर हुए नाम का वैदिक मंत्रोच्चार के बीच सीएम शिवराज ने रिमोट का बटन दबाकर नाम पट्टिका का अनावरण किया।
इसके बाद सीएम ने 28 करोड़ की लागत के विभिन्न विकास कार्यों का भूमिपूजन और लोकार्पण किया। कार्यक्रम में भोपाल सांसद साध्वी प्रज्ञा ठाकुर, विधायक विष्णु खत्री, जिला पंचायत अध्यक्ष रामकुंवर नौरंग गुर्जर भी मौजूद रहे।
इस्लाम नगर का 308 साल पुराना गौरव लौटेगा : सीएम
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने जगदीशपुर में आयोजित जश्न के कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, आजादी के 75वें साल में इस्लाम नगर का 308 साल पुराना गौरव लौट रहा है। अब इसे पुनः जगदीशपुर के नाम से जाना जाएगा। जहां बर्बरता, अन्याय, कत्लेआम किए गए, ऐसे नामों को बदला जाना चाहिए कि नहीं? इसलिए नाम बदला गया। यहां कलेक्टर कमिश्वर, सांसद, विधायक हैं, यहां का पूरा प्लान बनाओ। इस गांव का मास्टर प्लान बनाओ।
जगदीशपुर का मास्टर प्लान बनाकर ऐसा गांव बनाएंगे कि लोग देखते रह जाएंगे। इसके लिए चाहे तो कंसल्टेंट हायर करो। ये ऐतिहासिक गांव है। तथ्यों को एकत्रित कर जहां कत्लेआम किया गया वहां राजाओं का स्मारक बनाया जाएगा। उन्होंने बुजुर्गों की पेंशन 600 से एक हजार करने की बात भी कही।
वास्तुकला के लिए जाना जाता है जगदीशपुर का किला
सीएम ने कहा कि जगदीशपुर का किला अपनी वास्तुकला के लिए पहचाना जाता है। इतिहास में भी इसका काफी नाम रहा है। लेकिन मुगल शासक औरंगजेब के एक भगोड़े सेनापति दोस्त मोहम्मद खान ने दोस्ती का हाथ बढ़ाकर धोखे से राजा नरसिंह देवड़ा जी को बर्बरता के साथ मार दिया। छल-कपट और बर्बरता के साथ जगदीशपुर का नाम बदलकर इस्लामनगर रखा गया। यह काला अतीत है, जो मन को पीड़ा देता था।
कांग्रेस ने कहा कि यह असंभव है
सीएम ने कहा, 2008 में जब केंद्र में कांग्रेस की सरकार थी, तो हमने इस्लाम नगर का नाम पुनः बदलकर जगदीशपुर करने का आग्रह किया, तब कांग्रेस ने कहा कि यह असंभव है। असंभव को संभव करने का नाम ही नरेंद्र मोदी और भारतीय जनता पार्टी है। हमारी सांसद प्रज्ञा सिंह ने दिल्ली में प्रयास किया। हमने भी पत्र लिखे। ये ऐतिहासिक घटना है। भोपाल के नवाब ने एक बार कोई जागीर दे दी तो नसरुल्लागंज, बेगंमगंत, गैरतगंज नाम कर दिए गए। वो कोई महान थोड़े थे।
उन नामों को बदलने का काम चल रहा है। हमारी रानी कमलापति को दोस्त मोहम्मद ने धोखा दिया। उनके बेटे की हत्या की उस जगह का नाम लालघाटी पड़ गया। रानी कमलापति ने छोटे तालाब में जल समाधि ले ली। ये अन्याय अत्याचार हुआ। इसलिए हबीबगंज स्टेशन का नाम बदलकर रानी कमलापति रखा गया। पुराना वैभव और गौरव लौटना चाहिए।
संपूर्ण मध्यप्रदेश मेरा परिवार है : सीएम
सीएम ने कहा, हमारे खजाने में गरीब के लिए पैसों की कोई कमी नहीं है। महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए हमने लाड़ली बहना योजना बनाई। इसमें गरीब बहनों के खाते में एक हजार रुपए हर महीने आएंगे। बहने सशक्त होंगी तो परिवार, समाज, प्रदेश और देश सशक्त होगा। संपूर्ण मध्यप्रदेश मेरा परिवार है, अपना परिवार सुखी हो गया तो मेरा मुख्यमंत्री बनना सफल हो जाएगा। आपकी प्रसन्नता, आपके चेहरे की खुशी हमारी जिंदगी को सार्थक कर देती है।
आजादी के 75वें साल में इस्लाम नगर का 308 साल पुराना गौरव लौट रहा है। अब इसे पुनः जगदीशपुर के नाम से जाना जाएगा: मुख्यमंत्री श्री @ChouhanShivraj pic.twitter.com/FOzIVOKSQF
— Office of Shivraj (@OfficeofSSC) February 14, 2023
गांव का पुराना नाम जगदीशपुर ही था
इतिहासकारों के मुताबिक, इस गांव का पुराना नाम जगदीशपुर था। 17वीं शताब्दी में जगदीशपुर पर औरंगजेब की सेना के भगोड़े सैनिक दोस्त मोहम्मद खान ने आक्रमण किया था और इसका नाम बदलकर इस्लामनगर कर दिया था। अब 308 साल बाद फिर से भोपाल के ग्राम पंचायत को जगदीशपुर ही करने का फैसला किया गया है।
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