
नई दिल्ली। देश की राजधानी के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली सर्विस बिल पर आप का समर्थन करने वाले विपक्षी सांसदों को चिट्ठी लिखी है। उन्होंने विपक्षी गठबंधन I.N.D.I.A के सांसदों को धन्यवाद कहते हुए लिखा कि, दिल्ली के 2 करोड़ लोग कांग्रेस के शुक्रगुजार हैं। केजरीवाल ने खासकर पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह और JMM सुप्रीमो शिबू सोरेन का आभार व्यक्त किया।
केजरीवाल ने चिट्ठी में क्या लिखा
केजरीवाल ने राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खड़गे, उद्धव ठाकरे, ममता बनर्जी, नितिश कुमार, शरद पवार, एम के स्टालिन समेत हेमंत सोरेन समेत विपक्ष के अन्य नेताओं को चिट्ठी लिखी है।
केजरीवाल ने पत्र में लिखा कि, मैं आपका दिल्ली की 2 करोड़ जनता की ओर से धन्यवाद देता हूं। संसद और बाहर दिल्ली के अधिकारों की वकालत के लिए आप तारीफ के काबिल हैं। आपने गवर्नमेंट ऑफ नेशनल कैपिटल टेरिटरी ऑफ दिल्ली (GNCTD) बिल 2023 के खिलाफ वोट दिया है। मुझे विश्वास है कि संविधान के प्रति आपके अटूट विश्वास को दशकों तक याद रखा जाएगा। आपने संविधान को कमजोर करने वाली ताकतों के खिलाफ लड़ाई में अपनी पार्टी के निरंतर समर्थन की पेशकश की।
Delhi CM and AAP national convener Arvind Kejriwal writes to Congress national president Mallikarjun Kharge and MP Rahul Gandhi "expressing gratitude on behalf of the 2 crore people of Delhi for their party's support in rejecting and voting against the GNCTD (Amendment) Bill,… pic.twitter.com/txGyN9elHh
— ANI (@ANI) August 9, 2023
दिल्ली सर्विस बिल 2023 पास
राज्यसभा में सोमवार (7 अगस्त) को दिल्ली सर्विस बिल 2023 पर चर्चा हुई। पक्ष-विपक्ष नेताओं के संबोधन के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने जवाब दिया। जवाब के बाद बिल पर ऑटोमैटिक वोटिंग मशीन खराब होने से पर्ची से वोटिंग कराई गई। राष्ट्रीय राजधानी में नौकरशाहों पर केंद्र सरकार को अधिकार देने वाला विधेयक के पक्ष में 131 और विपक्ष में 102 वोट डाले गए। लोकसभा पहले ही इस बिल को मंजूर कर चुका है।
बिल अब राष्ट्रपति के पास मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। राष्ट्रपति की मंजूरी के बाद यह कानून बन जाएगा। चर्चा के दौरान अमित शाह ने कहा कि, दिल्ली का मामला अन्य राज्यों से अलग है। शाह ने यह भी कहा कि इस बिल से सुप्रीम कोर्ट के किसी फैसले का उल्लंघन नहीं हुआ है। इस बिल का उद्देश्य है कि दिल्ली में सुचारू रूप से भ्रष्टाचार मुक्त शासन हो।
सदन में कांग्रेस ने आप का दिया था साथ
कांग्रेस ने आम आदमी पार्टी को दिल्ली अध्यादेश विधेयक के विरोध में साथ देने का वादा किया था। उसी के मुतिक, कांग्रेस ने संसद के मानसून सत्र के दौरान लोकसभा और राज्यसभा में केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित दिल्ली सेवा विधेयक का विरोध किया। हालांकि, विपक्षी दलों के विरोध के बावजूद बीजेपी दिल्ली अध्यादेश विधेयक को दोनों सदनों से पास कराने में सफल रही।
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