
जयपुर। राजस्थान के सलूंबर (उदयपुर) से भाजपा विधायक अमृतलाल मीणा का निधन हो गया है। उदयपुर के एमबी अस्पताल में इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। मीणा को तबीयत बिगड़ने पर हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था। वह 65 वर्ष के थे। मौत का कारण हार्ट अटैक बताया जा रहा है। हालांकि, पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के बाद ही सही वजह पता चलेगी। अमृतलाल लगातार तीन बार से सलूंबर के विधायक थे। राज्य में उनकी पहचान एक आदिवासी नेता के तौर पर थी।
सीएम भजनला जताया दुख
बीजेपी विधायक के निधन पर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने शोक व्यक्त किया है। सीएम भजनलाल ने अपने एक्स हैंडल पर लिखा, “अत्यन्त दुःखद! सलूंबर विधानसभा क्षेत्र से भाजपा विधायक अमृत लाल मीणा का ह्रदयाघात से निधन के समाचार से स्तब्ध हूं।” उन्होंने आगे लिखा, “यह भाजपा परिवार के लिए अपूरणीय क्षति है। परमपिता परमेश्वर से प्रार्थना है कि उनकी पुण्य आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें एवं परिवारजनों को इस दुख की घड़ी में संबल प्रदान करें।”
2013 में पहली बार चुने गए विधायक
सलंबूर जिले के लालपुरिया गांव में साल 1959 में जन्मे अमृतलाल मीणा करीब 20 वर्षों से राजनीति में एक्टिव थे। उन्होंने साल 2004 में पहली बार पंचायत समिति सराड़ा के सदस्य के तौर पर राजनीति की शुरुआत की थी। उसके बाद साल 2007-10 तक जिला परिषद उदयपुर के सदस्य और 2010 में पंचायत समिति सराड़ा में प्रतिपक्ष नेता बने। वे पहली बार साल 2013 में विधायक चुने गए। उन्होंने कांग्रेस की बसंती देवी मीणा को हराया था। इसके बाद 2018 और 2023 में कांग्रेस दिग्गज नेता रघुवीर सिंह मीणा को हराकर विधानसभा पहुंचे। वे राजस्थान विधानसभा में प्राक्कलन समिति, प्रश्न एवं संदर्भ समिति, विशेषाधिकार समिति और अनुसूचित जनजाति कल्याण समिति के सदस्य रहे।
10 दिन जेल में रहे थे मीणा
अमृतलाल मीणा को साल 2021 में 10 दिन से ज्यादा समय जेल में रहना पड़ा था। दरअसल, 2015 में अमृतलाल मीणा की पत्नी शांता देवी सेमारी से सरपंच का चुनाव जीती थीं। प्रतिद्वंदी उम्मीदवार सुगना देवी ने उनके खिलाफ फर्जी मार्कशीट को लेकर शिकायत दर्ज कराई। सीबी-सीआईडी की जांच में मार्कशीट फर्जी पाई गई। पत्नी की पांचवीं की मार्कशीट पर अमृतलाल मीणा ने बतौर अभिभावक साइन किए थे, इसलिए उन्हें आरोपी माना गया।
शिकायत के बाद मामला स्थानीय कोर्ट और फिर मामला सुप्रीम कोर्ट में पहुंचा। सुप्रीम कोर्ट ने विधायक अमृतलाल मीणा को मामले में 3 हफ्ते में स्थानीय कोर्ट में सरेंडर करने के आदेश दिए। वहीं न्यायालय ने मीणा की जमानत याचिका खारिज करते हुए उन्हें जेल भेज दिया था।
ये भी पढ़ें- CBI ने दिल्ली कोचिंग सेंटर में स्टूडेंट्स की मौत के मामले की जांच का जिम्मा संभाला, राऊ कोचिंग मालिक पर FIR दर्ज