ताजा खबरभोपालमध्य प्रदेश

मोहन कैबिनेट : स्टार्टअप नीति में संशोधन को मंजूरी, रीवा सुपर स्पेशिलिटी हॉस्पिटल के लिए 164 करोड़ की स्वीकृति

भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में बुधवार को मंत्रालय में मंत्रिपरिषद की बैठक हुई। सीएम ने मंत्रिपरिषद की बैठक से पहले अपने संबोधन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पार्वती-काली सिंध-चंबल लिंक परियोजना के लिए धन्यवाद दिया और प्रदेश को 10405 करोड़ की सड़क परियोजनाओं की सौगात देने के लिए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का आभार माना। मंत्री परिषद के सदस्यों ने मेजें थपथपाकर अभिवादन किया।

स्टार्टअप से जुड़े लोगों की मदद करेगी सरकार

नगरीय विकास एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कैबिनेट बैठक में हुए महत्वपूर्ण निर्णयों की जानकारी दी। कैबिनेट बैठक में स्टार्टअप नीति में संशोधन का प्रस्ताव प्रस्तुत किया गया, जिसे सर्वसम्मति से मंजूरी दी गई। इसमें अब यह प्रविधान किया गया है कि राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में भाग लेने वाले प्रदेश के स्टार्टअप को प्रतिपूर्ति राशि दी जाएगी। साल में एक बार राष्ट्रीय स्तर पर प्रेजेंटेशन के लिए 50 हजार और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रेजेंटेशन के लिए मिलेंगे 1 लाख 50 हजार रुपए।

रीवा के लोगों को मिलेगा स्वास्थ्य सेवा का लाभ

कैबिनेट बैठक में रीवा में सुपर स्पेशिलटी हॉस्पिटल के विस्तार के लिए लगभग 164 करोड़ की स्वीकृति दी गई। इससे रीवा के लोगों को स्वास्थ्य सेवा का लाभ मिलेगा।

फरवरी में होगा भूमिपूजन

केन-बेतवा लिंक परियोजना का भूमि पूजन फरवरी 2024 में होगा ।केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी द्वारा कृषि और उद्योग क्षेत्र के संबंध में दिए गए सुझावों के क्रियान्वयन तथा इस संबंध में आवश्यक समन्वय के लिए विशेष टास्क फोर्स गठित किया जाएगा।

सीएम ने पीएम मोदी और गडकरी का जताया आभार

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मंत्रिपरिषद की बैठक से पहले अपने संबोधन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पार्वती-काली सिंध-चंबल लिंक परियोजना के लिए धन्यवाद दिया। मध्य प्रदेश को 10,405 करोड़ रुपए की सड़क परियोजनाओं की सौगात देने के लिए केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी का आभार जताया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि लगभग दो दशक से लंबित पार्वती-काली सिंध-चंबल लिंक परियोजना, प्रधानमंत्री मोदी की पहल से अब मूर्त रूप ले सकेगी। इससे मध्य प्रदेश के मालवा और चंबल क्षेत्र के 12 जिले और पूर्वी राजस्थान के 13 जिले लाभान्वित होंगे। इन क्षेत्रों में पेयजल की उपलब्धता बढ़ेगी तथा सिंचाई और औद्योगिक उपयोग के लिए भी पानी उपलब्ध होगा। उन्होंने जानकारी दी कि 75000 करोड़ की इस परियोजना में राज्यांश मात्र 10 प्रतिशत है, 90 प्रतिशत राशि केंद्र शासन द्वारा उपलब्ध कराई जाएगी।

मध्य प्रदेश की अन्य खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें…

संबंधित खबरें...

Back to top button