
देश की राजधानी दिल्ली में केजरीवाल सरकार में मंत्री राजेंद्र पाल गौतम ने रविवार को समाज कल्याण मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने अपना इस्तीफा मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को भेज दिया है। बता दें कि वह हाल ही में देवी-देवताओं पर दिए बयान से चर्चा में आए थे, जिसके बाद जमकर बवाल भी मचा था। मंत्री राजेंद्र गौतम ने इस्तीफा देते हुए कहा कि मैं पार्टी का सच्चा सिपाही हूं, लेकिन मैं नहीं चाहता कि मेरी वहज से पार्टी पर किसी भी तरह की आंच आए।
मंत्री राजेंद्र गौतम ने किया ये ट्वीट
मंत्री राजेंद्र पाल गौतम ने अपना इस्तीफा पत्र ट्वीट करते हुए लिखा कि आज महर्षि वाल्मीकि जी का प्रकटोत्सव दिवस है एवं दूसरी ओर मान्यवर कांशीराम साहेब की पुण्यतिथि भी है। ऐसे संयोग में आज मैं कई बंधनों से मुक्त हुआ और आज मेरा नया जन्म हुआ है। अब मैं और अधिक मजबूती से समाज पर होने वाले अत्याचारों व अधिकारों की लड़ाई को बिना किसी बंधन के जारी रखूंगा।
‘BJP की गंदी राजनीति से आहत हूं’
राजेंद्र पाल गौतम ने अपने त्याग पत्र में लिखा कि यह प्रतिज्ञाएं हर वर्ष देश के कोने-कोने में आयोजित हजारों स्थानों पर करोड़ों लोगों द्वारा दोहराई जाती हैं। बाबा साहेब की प्रतिज्ञाओं से बीजेपी को आपत्ति है। इसका इस्तेमाल करके बीजेपी गंदी राजनीति कर रही है और इससे आहत होकर मैं अपने मंत्री पद से त्यागपत्र दे रहा हूं।
राम-कृष्ण को ईश्वर न मानने की दिलाई थी शपथ
हाल ही में एक वीडियो वायरल हुआ है, जिसमें बौद्ध संत कई लोगों को शपथ दिलाते दिखाई दे रहे हैं। शपथ के दौरान राजेंद्र पाल गौतम मंच पर ही मौजूद थे। शपथ में कहा जा रहा है… मैं ब्रह्मा, विष्णु, महेश को कभी ईश्वर नहीं मानूंगा और ना ही उनकी पूजा करूंगा। मैं राम और कृष्ण को ईश्वर नहीं मानूंगा और ना ही उनकी कभी पूजा करूंगा। मैं गौरी गणपति आदि हिंदू धर्म के किसी भी देवी-देवताओं को नहीं मानूंगा और ना ही उनकी पूजा करूंगा।
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BJP ने दिया था ये अल्टीमेटम
बीजेपी ने अरविंद केजरीवाल को अल्टीमेटम देते हुए कहा था कि सभी धर्मों का सम्मान करने का दावा करने वाले केजरीवाल 24 घंटे के अंदर राजेंद्र पाल गौतम को बर्खास्त करें। कोई भी धर्म किसी को भी हिंदू धर्म का अपमान करने का अधिकार नहीं देता है। केजरीवाल के मंत्री द्वारा कहा गया शब्द न केवल असंवैधानिक है, बल्कि यह समाज के सद्भाव के खिलाफ है।
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