ताजा खबरराष्ट्रीय

छत्तीसगढ़ के जशपुर में जंगली हाथी के हमले में ग्रामीण की मौत, एक अन्य घायल

जशपुर छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में आगडीह गांव के पास जंगली हाथी के हमले में आसित तिग्गा (45) की मौत हो गई और अनिल किस्पोट्टा गंभीर रूप से घायल हो गए। अधिकारियों ने बताया कि आगडीह गांव के मरियम टोली के जंगल में आज सुबह अपने दल से बिछड़े एक हाथी ने झारखंड की तरफ से प्रवेश किया था। इस दौरान सुबह गांव से जंगल की तरफ जा रहे आसित तिग्गा और अरविंद किस्पोट्टा का सामना हाथी से हो गया। जंगली हाथी ने दोनों पर हमला कर दिया। इस हमले में तिग्गा की मौके पर ही मौत हो गई और किस्पोट्टा गंभीर रूप से घायल हो गए। उन्होंने बताया कि घटना की जानकारी मिलने के बाद वन विभाग के दल को घटनास्थल के लिए रवाना किया गया। घायल को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। अधिकारियों ने बताया कि हमले में मारे गए तिग्गा के परिजनों को तात्कालिक आर्थिक सहायता के रूप में 25 हजार रुपए दिए गए हैं।

आज की अन्य खबरें…

नवी मुंबई में अवैध रूप से रह रही 7 बांग्लादेशी महिलाएं गिरफ्तार

ठाणे। महाराष्ट्र के नवी मुंबई शहर में पुलिस ने अवैध रूप से रह रहीं सात बांग्लादेशी महिलाओं को गिरफ्तार किया है। एक अधिकारी ने गुरुवार को यह जानकारी दी। सूचना के आधार पर NRI पुलिस थाने की एक टीम ने मंगलवार की शाम को नवी मुंबई के क्रावे गांव में एक आवासीय परिसर पर छापा मारा और वहां दो कमरों में रह रही इन महिलाओं को पकड़ा। इस थाने के अधिकारी ने बताया कि लोगों के घरों में घरेलू सहायिका का काम करने वाली ये महिलाएं अवैध रूप से भारत में घुस आई थीं और वे इस गांव में किराये के मकान में बिना किसी दस्तावेज के रह रही थीं। पुलिस ने कहा कि पासपोर्ट (भारत में प्रवेश) अधिनियम, 1950 और विदेशी अधिनियम के संबंधित प्रावधानों के तहत इन महिलाओं के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।

उत्तर-पश्चिमी पाकिस्तान में जनजातियों के बीच संघर्ष में 36 लोग मारे गए

पेशावर। अफगानिस्तान की सीमा से लगे पाकिस्तान के अशांत उत्तर-पश्चिमी कुर्रम जिले में पिछले छह दिन में एक जमीन के टुकड़े को लेकर दो जनजातियों के बीच संघर्ष में कम से कम 36 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 80 लोग घायल हुए हैं। पुलिस ने गुरुवार को यह जानकारी दी। पुलिस के अनुसार, सरकार और आदिवासी बुजुर्गों द्वारा स्थिति को शांत करने के प्रयासों के बावजूद जमीन विवाद को लेकर झड़पें शुरू हो गईं। हालांकि, स्थानीय लोगों ने इस संघर्ष में इससे कहीं ज्यादा लोगों के हताहत होने का दावा किया है। यह लड़ाई जिले के बालिशखेल, सद्दा, खार कल्ले, पीवर और मकबल जैसे इलाकों में फैल गई। ये इलाके अफगानिस्तान के खोस्त, पक्तिया, लोगर और नांगरहार प्रांतों की सीमा से सटे हैं, जिन्हें आईएसआईएस और तालिबान का गढ़ माना जाता है। जुलाई में इसी क्षेत्र में बोशेरा और मालीखेल जनजातियों के बीच सप्ताह भर चली झड़प में 50 लोग मारे गए और 225 से अधिक घायल हो गए। दोनों पक्षों के बुजुर्गों के संयुक्त संघ जिरगा (आदिवासी परिषद) ने झड़पों को रोकने के लिए पुलिस उप महानिरीक्षक और कोहाट आयुक्त से मुलाकात की, लेकिन उन्हें कोई खास सफलता नहीं मिली।

संबंधित खबरें...

Back to top button