
इंदौर। मध्य प्रदेश के हरदा में स्थित पटाखा गोदाम में भीषण विस्फोट के बाद जिला प्रशासन हरकत में आया। इंदौर के जिला प्रशासन ने बुधवार को अलग-अलग गड़बड़ियों के कारण पटाखों के 7 गोदामों को सील कर दिया है। जिसमें तेजाजी नगर में पांच और राऊ में दो गोडाउन शामिल है।
सीमा से ज्यादा पटाखों का भंडारण मिला
सीएसपी उमाकांत चौधरी ने बताया, हमने पिछले 24 घंटे के दौरान जिले के अलग-अलग इलाकों में पटाखों के सात गोदाम सील कर दिए हैं। जिसमें तेजाजी नगर में पांच और राऊ में दो गोडाउन शामिल है। उन्होंने बताया कि इनमें से एक पटाखा गोदाम रिहायशी क्षेत्र में था, जबकि अन्य गोदामों में स्वीकृत सीमा से ज्यादा पटाखों का भंडारण पाया गया और वहां सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम भी नहीं थे।
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— Peoples Samachar (@psamachar1) February 7, 2024
हरदा में मलबा हटाने का कार्य जारी
हरदा के पटाखा कारखाने में मंगलवार को भीषण विस्फोट में कम से कम 11 लोगों की जान चली गई और 200 से अधिक व्यक्ति घायल हो गए। हालांकि, प्रशासन मृतकों की संख्या के बारे में अभी कुछ नहीं बोल रहा। अब तक 11 लोगों की मृत्यु की पुष्टि हो चुकी है। घटनास्थल पर पुलिस बल लगातार उपस्थित है। जेसीबी मशीनों से मलबे को हटाने का कार्य लगातार जारी है।
लगातार तीन विस्फोट हुए
हरदा के बैरागढ़ क्षेत्र में 6 फरवरी की सुबह लगभग साढ़े 11 बजे गांव में स्थित एक पटाखा कारखाने में एक के बाद एक लगातार तीन विस्फोट हुए थे। विस्फोट इतने भीषण थे कि आसपास के लगभग 20 किलोमीटर के गांवों में इसकी आवाज सुनाई दी। विस्फोट के बाद कारखाने के आसपास के घरों में आग लग गई। स्थानीय लोगों को भूकंप आने जैसा अहसास हुआ। इसी बीच आग का गुबार कई किलोमीटर तक की दूरी तक से देखा गया। हादसे के बाद कुछ लोग सड़कों के किनारे पर भी घायल अवस्था में पाए गए थे, जिससे ये आशंका लगाई जा रही है कि कुछ लोग भीषण विस्फोट के चलते उछल कर दूर स्थानों पर जा गिरे थे।
कारखाने में पहले भी हो चुका विस्फोट
हादसे के बाद हरदा जिला मुख्यालय से प्रशासनिक और चिकित्सीय अमला फौरन घटनास्थल पर पहुंचा और राहत एवं बचाव कार्य में जुट गया था। बताया जा रहा है कि इस कारखाने में लगभग पांच साल पहले भी विस्फोट हो चुका है, जिसमें लगभग तीन लोगों की जान चली गई थी।