
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को अपना चौथा बजट पेश किया है। इस बजट में अलग-अलग सेक्टरों के लिए अनेक घोषणाएं की गई। वित्त मंत्री ने घोषणाओं में बताया कि कौन सी चीजें सस्ती होंगी और क्या महंगा होगा। दरअसल, उन्होंने तमाम चीजों पर कस्टम ड्यूटी, आयात शुल्क समेत तमाम शुल्क बढ़ाए और घटाए जाने की बात कही। आइए जानते हैं कि क्या हुआ महंगा और क्या सस्ता…
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बजट में क्या-क्या होगा सस्ता?
- विदेश से आने वाली मशीनें सस्ती होंगी।
- कपड़ा और चमड़े का सामान सस्ता होगा।
- खेती के उपकरण सस्ते होंगे।
- मोबाइल- चार्जर।
- जूते -चप्पल।
- हीरे के गहने।
- पैकेजिंग के डिब्बे।
- जेम्स एंड ज्वैलरी।
क्या-क्या हुआ महंगा?
- छाता।
- कैपिटल गुड्स।
- बिना ब्लेंडिंग वाले फ्यूल।
- इमिटेशन ज्वैलरी।
सरकार ने कस्टम ड्यूटी घटाई
बजट में सरकार ने जेम्स एंड ज्वैलरी पर कस्टम ड्यूटी में 5 फीसदी की कटौती कर दी गई है। इसके अलावा कट और पॉलिश्ड डायमंड पर भी सरकार ने कस्टम ड्यूटी 5 फीसदी तक घटा दी है। स्टील स्क्रैप पर कस्टम ड्यूटी को एक साल के लिए बढ़ाया गया है। वहीं, मेंथा ऑयल पर भी कस्टम ड्यूटी को कम कर दिया गया है।
इन चीजों पर बढ़ाई कस्टम ड्यूटी
बजट में कैपिटल गुड्स और आयात शुल्क पर कस्टम ड्यूटी को 7.5 फीसदी कर दिया है। इसके अलावा इमिटेशन ज्वैलरी पर भी कस्टम ड्यूटी को बढ़ाया गया है। विदेशी छाते की कीमतों में भी इजाफा हो जाएगा। बिना ब्लेंडिंग वाले फ्यूल पर भी कीमतों में इजाफा हुआ है।
इंपोर्ट ड्यूटी क्या होती है?
इंपोर्ट ड्यूटी वह टैक्स है जो किसी दूसरे देश से आने वाले सामान पर वसूल किया जाता है। इंपोर्ट ड्यूटी कितनी लगेगी, यह सामान की कीमत के साथ-साथ सामान किस देश से है और कई अन्य चीजों पर निर्भर करता है। वहीं इंपोर्ट ड्यूटी को कस्टम ड्यूटी, टैरिफ, इंपोर्ट टैक्स या इंपोर्ट टैरिफ भी कहते हैं। इस इंपोर्ट ड्यूटी के दो उद्देश्य होते हैं- सरकार के लिए आय जुटाना और लोकल लेवल पर प्रड्यूज होने वाले सामान को मार्केट में मुनाफा दिलाना।
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