संतोष चौधरी-भोपाल। मध्य प्रदेश का पहला पूरी तरह दिव्यांग फ्रेंडली कैफे भोपाल में बनने जा रहा है। मप्र राज्य पर्यटन विकास निगम ने यह पहल की है। यहां न केवल दिव्यांगों के हिसाब से रैंप और अन्य व्यवस्थाएं डेवलप की जाएंगी, बल्कि कैफे की जिम्मेदारी भी पूरी तरह से दिव्यांग स्टाफ संभालेगा। पर्यटन निगम के अधिकारियों ने बताया कि सोशल रिस्पॉबिलिटी के तहत पहली बार इस तरह का प्रयोग किया जा रहा है।
रवींद्र भवन परिसर स्थित ‘रवींद्र भवन कैफे’ को दिव्यांग फ्रेंडली बनाने की तैयारी शुरू हो गई है। यहां सभी कैटेगरी के दिव्यांग और नि:शक्तजनों ग्राहकों को उनके हिसाब से सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी। इसके लिए मौजूदा कैफे परिसर को जल्द ही रिनोवेट किया जाएगा। व्हील चेयर भी रखी जाएगी। दिव्यांग ग्राहकों के लिए म्यूजिक की भी व्यवस्था की जाएगी।
कैफे की खासियत
- सिटिंग अरेंजमेंट स्पेशल: इस दिव्यांग फ्रेंडली कैफे में मेन्यू कार्ड ब्रेल लिपि में भी होगा। इसके अलावा इसका डिजिटल डिस्पले भी किया जाएगा। सिटिंग अरेंजमेंट भी उन्हीं के हिसाब से किया जाएगा।
- दिव्यांगजनों की भर्ती होगी : यहां टॉप टू बाटम स्टाफ भी दिव्यांगजन ही होंगे। डिशेज तैयार करने से लेकर परोसने तक की सारी जिम्मेदारी उन्हें ही दी जाएगी। इसके लिए दिव्यांग कर्मचारियों की भर्ती भी की जाएगी।
दिव्यांग युवाओं में कई तरह का होता है टैलेंट
कई दिव्यांग युवाओं में होटल्स एवं हॉस्पिटैलिटी सेक्टर का टैलेंट है, लेकिन उन्हें आगे बढ़ने का मौका नहीं मिल पाता है। इसको ध्यान में रखते हुए मौजूदा कैफे का रिनोवेशन कर दिव्यांगों के हिसाब से सुविधाएं डेवलप की जाएंगी। संभवत: प्रदेश का यह अपनी तरह का पहला दिव्यांग फ्रेंडली कैफे होेगा। – अमन मिश्रा, सीजीएम, मप्र राज्य पर्यटन विकास निगम