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Sri Lanka Crisis: श्रीलंका को आज मिलेगा नया राष्ट्रपति, 44 साल बाद सीक्रेट वोटिंग से होगा चुनाव; त्रिकोणीय मुकाबले के आसार

श्रीलंका में जारी आर्थिक व सियासी संकट के बीच आज राष्ट्रपति पद के लिए मतदान होगा। श्रीलंका की संसद 44 साल में पहली बार आज त्रिकोणीय मुकाबले में सीधे राष्ट्रपति का चुनाव करेगी। राष्ट्रपति चुनाव में रानिल विक्रमसिंघे, पूर्व शिक्षा मंत्री दुल्लास अलहप्परुमा और वामपंथी नेता अनुरा दिसानायके के बीच मुकाबला होगा। इन तीनों में से किसी एक को देश छोड़कर भागने वाले गोटाबाया राजपक्षे की जगह राष्ट्रपति चुना जाएगा।

1978 के बाद पहली बार ऐसा हो रहा…

पार्लियामेंट में 44 साल बाद सीक्रेट वोटिंग होगी। यानी 1978 के बाद पहली बार देश में जनादेश के माध्यम से नहीं, बल्कि राष्ट्रपति का चुनाव सांसदों के सीक्रेट वोट के माध्यम से होगा। इसके बाद स्पीकर नए प्रेसिडेंट के नाम का ऐलान करेंगे।

नवंबर 2024 तक पद पर रहेंगे नए राष्ट्रपति

63 वर्षीय अल्हाप्पेरुमा कट्टर सिंहली बौद्ध राष्ट्रवादी और सत्तारूढ़ श्रीलंका पोदुजाना पेरामुना (एसएलपीपी) पार्टी के सदस्य हैं। उन्हें मुख्य विपक्षी नेता एस. प्रेमदासा ने समर्थन देकर अपना नाम वापस लिया है। वहीं, 53 वर्षीय दिसानायके वामपंथी जनता विमुक्ति पेरामुना (जेवीपी) के प्रमुख सदस्य हैं। नए राष्ट्रपति नवंबर 2024 तक पूर्व राष्ट्रपति राजपक्षे के शेष कार्यकाल के लिए पद पर रहेंगे।

यदि अल्हाप्पेरुमा राष्ट्रपति चुने गए तो प्रेमदासा होंगे पीएम

श्रीलंका की मुख्य विपक्षी पार्टी एसजेबी ने कहा है कि यदि सांसद दुल्लास अल्हाप्पेरुमा को राष्ट्रपति पद के लिए चुना जाता है तो पार्टी के नेता साजिथ प्रेमदासा को प्रधानमंत्री के रूप में नियुक्त किया जाएगा। पार्टी महासचिव रंजीत मद्दुमा बंडारा ने कहा अल्हाप्पेरुमा की पार्टी (एसएलपीपी) के साथ इसी पर समझौता हुआ है। बंडारा ने दावा किया कि अल्हाप्पेरुमा को 225 सदस्यीय संसद में नए राष्ट्रपति के रूप में चुने जाने के लिए पर्याप्त समर्थन हासिल है।

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जानिए श्रीलंका संकट में अब तक क्या-क्या हुआ?

15 मार्च 2022 : राजपक्षे परिवार के खिलाफ प्रदर्शनकारियों ने विद्रोह शुरू कर दिया था। जिसके बाद सरकार ने खाद्य वस्तुओं पर इमरजेंसी लगा दिया।

2 अप्रैल 2022 : राष्ट्रपति आवास के बाहर हिंसक प्रदर्शन को देखते हुए श्रीलंका में आपातकाल लगाया गया। जिसे 5 दिन बाद वापस ले लिया गया।

4 अप्रैल 2022 : बढ़ते प्रदर्शन को देखते हुए 26 मंत्रियों ने एक साथ इस्तीफा दे दिया था।

6 मई 2022 : विरोध प्रदर्शन उग्र होने लगा। जगह-जगह पर पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प होने लगी। जिसके बाद दोबारा आपतकाल लगाया गया।

9 मई 2022 : महिंद्रा राजपक्षे ने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। जिसके बाद रानिल विक्रमसिंघे नए प्रधानमंत्री बनाए गए।

5 जुलाई 2022 : प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे द्वारा श्रीलंका के दिवालिया होने की घोषणा के बाद प्रदर्शनकारी फिर उग्र हो गए।

9-10 जुलाई 2022 : हजारों प्रदर्शनकारी राष्ट्रपति आवास में घुस गए। विरोध प्रदर्शन को देखते हुए राष्ट्रपति गोटबाया भाग खड़े हुए।प्रदर्शनकारियों ने लगाई पीएम के घर में आग। प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने कहा- वह भी इस्तीफा देने को तैयार हैं। राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे ने श्रीलंका संसद के अध्यक्ष महिंदा यापा अभयवर्धने से कहा कि वह 13 जुलाई को पद छोड़ देंगे।

11 जुलाई 2022 : 15 जुलाई को संसद के नए सत्र और 20 जुलाई को राष्ट्रपति चुनाव का ऐलान किया गया।

12 जुलाई 2022 : विपक्षी पार्टी SJB के प्रमुख सजित प्रेमदासा श्रीलंका के अंतरिस राष्ट्रपति बनाए गए।

13 जुलाई 2022 : प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे को कार्यवाहक राष्ट्रपति नियुक्त किया गया। उग्र प्रदर्शनों को देखते हुए इमरजेंसी लगा दी गई।

14 जुलाई 2022 : राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे मालदीव छोड़ सिंगापुर पहुंचे। उनके साथ उनकी पत्नी और दो बॉडीगार्ड भी थे।

15 जुलाई 2022 : प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने कार्यकारी राष्ट्रपति के तौर पर पद संभाला।

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