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रीवा : 160 फीट गहरे बोरवेल में फंसा 6 साल का मासूम मयंक, 17 घंटे से रेस्क्यू ऑपरेशन जारी; कोई मूवमेंट नहीं दिखा

रीवा। मध्य प्रदेश के रीवा जिले की त्योंथर तहसील में शुक्रवार को 6 साल का मासूम खुले बोरवेल में गिर गया। 17 घंटे से मासूम को बोरवेल से निकालने का काम चल रहा है। जिले में रात में हुई बारिश के कारण रेस्क्यू ऑपरेशन में दिक्कत आ रही थी। बोरवेल के पैरलल अब तक 60 फीट की खुदाई की जा चुकी है। रेस्क्यू ऑपरेशन चल रहा है। जानकारी के अनुसार, अभी तक बच्चे की कोई मूवमेंट नहीं दिखाई दी है। बताया जा रहा है कि बच्चा करीब 60 फीट गहराई में फंसा है।

बोरवेल की गहराई 70 फीट : रीवा कलेक्टर

रीवा कलेक्टर प्रतिभा पाल बोलीं- बोरवेल की गहराई 70 फीट है, 50 फीट की खुदाई के बाद और कैमरे की मदद से हमें जो जानकारी मिली है संभवतः बच्चा 45-50 फीट की गहराई पर फंसा हुआ है। NDRF की टीम मासूम तक पहुंचने के लिए हॉरिजॉन्टल टनल तैयार कर रही है।

CM ने प्रशासन को रेस्क्यू के काम में तेजी के निर्देश दिए

रीवा जिले के मनिका गांव में बोरवेल में गिरे मासूम की घटना पर मुख्यमंत्री डॉ.मोहन यादव ने चिंता जताई है। कहा- हमने रेस्क्यू करने के लिए वहां टीम लगाई हुई है। लेकिन, बारिश में मिट्टी के धंसे होने के कारण काफी दिक्कत आ रही है। मैं उम्मीद कर रहा हूं कि प्रशासन पूरी कोशिश के साथ बच्चे को बोरवेल से बाहर निकाल लेंगे। मेरी कलेक्टर और एसपी से बातचीत हुई।

सीएम ने आगे कहा कि घटना अत्यंत दुखद है। मैंने प्रशासन को पहले भी निर्देश दिए और दोबारा निर्देश दे रहा हूं कि ऐसे कोई बोरवेल किसी भी क्षेत्र में हों उसे तुरंत बंद करवाएं। खासकर ऐसे सूखे बोरवेल जिसमें पानी नहीं आता लेकिन इससे जिंदगी का बहुत बड़ा नुकसान होता है, इससे बचना चाहिए। उम्मीद करेंगे कि आने वाले समय में इस तरह की घटना न हो।

गेहूं की बालियां बीनते हुए बोरवेल में गिरा मासूम

रीवा जिले की त्योंथर तहसील के मनिका गांव में शुक्रवार शाम (12 अप्रैल) करीब साढ़े तीन बजे 6 साल का मासूम मयंक कोल 160 फीट गहरे बोरवेल में गिर गया। जानकारी के मुताबिक, यह बोरवेल खुला हुआ था। बताया जा रहा कि मासूम खेत में दोस्तों के साथ बालियां बीनने गया था, इस दौरान वह खेत में घास से ढंके बोरवेल में गिर गया। मयंक के साथ मौजूद बच्चों ने उसके परिजनों को जानकारी दी। घटना की सूचना मिलने पर एसपी और कलेक्टर मौके पर पहुंच गए। रेस्क्यू टीम ने मौके पर पहुंचकर बचाव कार्य शुरू कर दिया।

4 पोकलेन और 8 जेसीबी खुदाई में जुटी

पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार, देर रात तक 8 जेसीबी खुदाई में लगी हुई थीं। यह भी बताया जा रहा है कि न तो बच्चे तक कैमरा पहुंच पाया है और न ही ऑक्सीजन की पाइप। बोरवेल में मिट्टी और पराली होने की वजह से कैमरे में तस्वीर नहीं आ पाई है। 4 पोकलेन और 8 जेसीबी खुदाई में लगाई गई है।

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