
श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर के कुलगाम जिले में गुरुवार (19 दिसंबर) सुबह सुरक्षाबलों और आतंकवादियों के बीच मुठभेड़ हुई। कद्देर इलाके में सेना और पुलिस ने जॉइंट ऑपरेशन में 5 आतंकियों को ढेर कर दिया। हालांकि, इस एनकाउंटर में दो जवान भी घायल हो गए। एनकाउंटर के बाद अब सुरक्षाबलों की टीम इलाके में सर्च ऑपरेशन चला रही है।
आतंकियों के छिपे होने की मिली थी जानकारी
जानकारी के मुताबिक, गुरुवार सुबह सेना और पुलिस को इलाके में 4-5 आतंकियों के छिपे होने की जानकारी मिली थी। इसके बाद जॉइंट सर्च ऑपरेशन चलाया गया। सर्च ऑपरेशन के दौरान आतंकियों ने फायरिंग शुरू कर दी। सेना ने भी जवाबी कार्रवाई की, जिसके बाद मुठभेड़ शुरू हो गई। आतंकियों और सुरक्षाबलों के बीच यह एकाउंटर कुलगाम जिले के बेहिबाग पीएस के कद्देर गांव में हुआ है।
सेना के चिनार कॉर्प्स ने जानकारी देते हुए बताया है कि, “19 दिसंबर 2024 को आतंकवादियों की मौजूदगी के बारे में विशेष खुफिया जानकारी के आधार पर, भारतीय सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस ने कादर, कुलगाम में एक संयुक्त अभियान शुरू किया। इस दौरान सतर्क सैनिकों ने संदिग्ध गतिविधि देखी। वहीं, चुनौती दिए जाने पर आतंकवादियों ने अंधाधुंध और भारी मात्रा में गोलीबारी शुरू कर दी। हमारे सैनिकों ने इसके बाद प्रभावी ढंग से जवाबी कार्रवाई की।”
दिसंबर में एनकाउंटर की पहली घटना
जम्मू-कश्मीर में दिसंबर में सेना और आतंकियों के एनकाउंटर की यह पहली घटना है। पिछले महीने नवंबर में 10 दिनों में 9 एनकाउंटर हुए थे। जिसमें 8 आतंकियों को ढेर कर दिया गया था।
जम्मू में 20 साल पुराना नेटवर्क फिर से एक्टिव
जम्मू में जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा का 20 साल पुराना नेटवर्क फिर से सक्रिय हो गया है। करीब दो दशक पहले, सेना ने जम्मू रीजन में इन आतंकवादी संगठनों के स्थानीय नेटवर्क को निष्क्रिय कर दिया था, लेकिन अब यह फिर से पूरी ताकत से काम कर रहा है। पहले यह नेटवर्क आतंकियों का सामान लाने-ले जाने का काम करता था, लेकिन अब यह गांवों में आतंकियों को हथियार, गोला-बारूद और खाना-पीना मुहैया कर रहा है।
हाल ही में 25 संदिग्धों को हिरासत में लिया गया, जिन्होंने इस नेटवर्क के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी दी है। यह नेटवर्क जम्मू के 9 जिलों—राजौरी, पुंछ, रियासी, ऊधमपुर, कठुआ, डोडा, किश्तवाड़, जम्मू और रामबन—में फैल चुका है।
जम्मू-कश्मीर के पूर्व डीजीपी एसपी वैद्य के अनुसार, आर्टिकल 370 हटने के बाद पाकिस्तान की सेना और आईएसआई ने जम्मू को निशाना बनाना शुरू कर दिया था। उन्होंने दो साल में इस नेटवर्क को फिर से सक्रिय किया, और इसी के जरिए आतंकियों ने 2020 में पुंछ और राजौरी में सेना पर बड़े हमले किए। बाद में, इस नेटवर्क ने ऊधमपुर, रियासी, डोडा और कठुआ को भी अपने निशाने पर लिया।
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