भोपाल। पुराने भोपाल के शाहजहानाबाद, फूटा मकबरा सहित कई इलाकों में ताबड़तोड़ बिजली चोरी चल रही है। यहां हर तीसरे घर में बिजली मीटर में छेड़छाड़ कर बिजली चोरी की जा रही है। जिस घर में 4 एयर कंडीशनर लगे हैं, उन घरों के बिल तक 300 रुपए प्रतिमाह आ रहे हैं। गरमी के सीजन में उनके यहां इतनी ही खपत आ रही है।
चेकिंग अभियान में रोज हो रहे खुलासे
मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के सिटी सर्कल द्वारा ओल्ड सिटी में चलाए जा रहे चेकिंग अभियान के दौरान बुधवार को इस तरह के मामलों के खुलासे हुए। बिजली कंपनी द्वारा सर्वाधिक बिजली चोरी वाले इलाकों में विशेष टीम बनाकर बिजली चोरी करने वाले के खिलाफ चेकिंग अभियान चलाया जा रहा है। बुधवार को 44 टीमों ने बिजली का अवैध और अनाधिकृत उपयोग करने वालों के खिलाफ विद्युत अधिनियम 2003 की विभिन्न धाराओं के तहत 273 प्रकरण बनाए। इनमें सीधे बिजली चोरी, मीटर से छेड़छाड़ एवं लोड परिवर्तन से जुड़े मामले शामिल हैं।
मीटर की सील तोड़कर हो रही चोरी
बिजली कंपनी के सिटी सर्कल के नॉर्थ डिवीजन के डीजीएम समीर शर्मा का कहना है कि अभियान के दौरान पिछले दो दिन में बिजली चोरी के 442 प्रकरण बनाए गए हैं। वे कहते हैं कि कटिया डालकर बिजली चोरी करना तो सामान्य बात है, लेकिन इस अभियान में यह बात सामने आ रही है कि हर तीसरे घर के मीटर में छेड़छाड़ मिल रही है। कोई मीटर की सील तोडकर मेगनेट लगाकर चोरी कर रहा है तो कोई मीटर के पिछले हिस्से तोड़कर उसमें छेड़छाड़ कर रहा है।
इन क्षेत्रों में हुई चेकिंग
बुधवार को भोपाल शहर के तहत सर्वाधिक लाइन लॉस वाले इलाकों टीला जमालपुरा, इंद्रानगर, न्यू गांधीनगर , शाहजहानाबाद, कबीटपुरा, फूटा मकबरा, संजयनगर, दुर्गा मंदिर, नबाब कॉलोनी, धोबीघाट,बजरिया एवं अन्य क्षेत्र में कार्रवाई हुई। यह कार्रवाई अभी जारी रहेगी।
एक साथ सड़क पर उतरीं 44 टीमें
कंपनी के सिटी सर्कल के जीएम जाहिद अजीज खान ने बताया कि कंपनी अवैध कनेक्शनों की जांच और अनधिकृत बिजली का उपयोग करने वालों के खिलाफ अभियान चलाकर कार्रवाई कर रही है। 44 टीमें विद्युत अधिनियम 2003 की विभिन्न धाराओं में कार्रवाई कर रही हैं।
बिजली कंपनी की अपील
बिजली कंपनी ने उपभोक्ताओं से अपील की है कि वे वैध कनेक्शन लेकर ही बिजली का उपयोग करें और बिजली बिलों का समय पर भुगतान करें। कंपनी ने कहा है कि बिजली चोरी जैसे सामाजिक अपराध को रोकें और बिजली का अवैध और अनधिकृत उपयोग न करें। बिजली चोरी के मामलों में विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 126, 135 एवं 138 के तहत बनने वाले मुकदमों और अप्रिय कार्रवाई से बचें। बताते चलें कि बिजली चोरी के मामले में जेल की सजा का भी प्रावधान है।