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अमित शाह एडिटेड वीडियो केस : दिल्ली पुलिस ने तेलंगाना CM रेवंत रेड्डी को भेजा नोटिस,1 मई को पूछताछ के लिए बुलाया

नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के एडिटेड वीडियो को लेकर तेलंगाना CM रेवंत रेड्‌डी को समन जारी किया है। उन्हें 1 मई को पूछताछ के लिए बुलाया गया है। दिल्ली पुलिस ने रेवंत रेड्डी को उनके द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले सभी इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स भी साथ लाने को कहा है। दिल्ली पुलिस ने रविवार (28 अप्रैल) को इस मामले में FIR दर्ज की थी।

इस वीडियो में बीजेपी नेता कथित तौर पर एससी-एसटी और ओबीसी के आरक्षण को खत्म करने की बात करते दिख रहे हैं। हालांकि, न्यूज एजेंसी PTI के फैक्ट चेक में ये वीडियो फेक साबित हुआ है। एडिटेड वीडियो को फैलाने को लेकर दिल्ली पुलिस को 2 शिकायतें मिली थीं। एक शिकायत भाजपा की ओर से की गई थी, जबकि दूसरी गृह मंत्रालय की तरफ से की गई थी। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल साइबर विंग IFSO यूनिट ने FIR दर्ज की है।

तेलंगाना सीएम को क्यों भेजा गया नोटिस

दिल्ली पुलिस की ओर से जारी किए गए नोटिस में तेलंगाना के सीएम रेवंत रेड्डी को उनके द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले सभी इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स भी लाने को कहा गया है। रेड्डी के फोन की भी जांच की जाएगी। दरअसल, रेवंत ने भी अपने एक्स अकाउंट से अमित शाह के फेक वीडियो को शेयर किया था। फेक वीडियो शेयर करने वाले कुछ कांग्रेसी नेताओं सहित पांच और लोगों को भी दिल्ली पुलिस द्वारा तलब किया जाएगा। दरअसल, तेलंगाना कांग्रेस के आधिकारिक अकाउंट समेत पार्टी के कई नेताओं ने इस वीडियो को शेयर किया था। हालांकि, इनके सोशल मीडिया अकाउंट्स से यह पोस्ट अब हटा ली गई है।

किन लोगों के खिलाफ हुई FIR?

FIR के मुताबिक, अमित शाह के इस फेक वीडियो को फैलाने वाले सभी लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल साइबर विंग ने IPC की धारा 153/153A/465/469/171G और IT एक्ट की धारा 66C के तहत एफआईआर दर्ज की है।

BJP ने शिकायत में कही ये बात

बीजेपी ने शिकायत में कहा कि, अमित शाह ने अनुसूचित जाति (SC) और अनुसूचित जनजाति (ST) के लिए आरक्षण खत्म करने को लेकर कोई बात नहीं की है। वायरल हो रहा वीडियो फेक है। बीजेपी का आरोप है कि, मूल वीडियो में अमित शाह ने तेलंगाना में मुसलमानों के लिए “असंवैधानिक” आरक्षण हटाने की बात कही थी।

अमित शाह ने क्या कहा था?

वायरल हो रहे फेक वीडियो में बीजेपी नेता अमित शाह को कहते दिखाया गया है कि, सरकार बनते ही एससी-एसटी और ओबीसी के आरक्षण को खत्म कर दिया जाएगा। वहीं, असल में केंद्रीय गृह मंत्री ने सरकार बनते ही मुस्लिम समुदाय को दिए जा रहे आरक्षण को हटाने की बात कही थी। बता दें कि, कर्नाटक सरकार ने हाल ही में मुस्लिमों को ओबीसी सूची में शामिल करने का फैसला लिया था।

झारखंड कांग्रेस ने किया था पोस्ट

झारखंड कांग्रेस ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर एक पोस्ट शेयर किया था। इसमें लिखा था कि, ‘अमित शाह का चुनावी भाषण वायरल हो गया है, जिसमें उन्होंने कहा कि अगर बीजेपी की सरकार दोबारा बनी तो ओबीसी और एससी/एसटी आरक्षण खत्म कर दिया जाएगा।’ यह पोस्ट रविवार (28 अप्रैल 2024) को शेयर किया गया था।

अमित मालवीय ने तेलंगाना कांग्रेस पर लगाया आरोप

BJP नेता और IT सेल के हेड अमित मालवीय ने आरोप लगाया कि कांग्रेस एक एडिटेड वीडियो वायरल कर रही है, जो पूरी तरह से फर्जी है। अमित मालवीय ने 27 अप्रैल को तेलंगाना कांग्रेस की ओर से शेयर किए गए इस फेक वीडियो को एक्स पर पोस्ट किया। आरोप लगाया कि कांग्रेस एक एडिटेड वीडियो वायरल कर रही है, जो पूरी तरह से फर्जी है। इससे बड़े पैमाने पर हिंसा होने की आशंका है। गृह मंत्री अमित शाह ने एससी/एसटी और ओबीसी की हिस्सेदारी कम करके असंवैधानिक तरीके से मुस्लिमों को दिए जाने वाले आरक्षण को हटाने की बात कही थी। यह फर्जी वीडियो कई कांग्रेस नेताओं ने शेयर किया है, अब वे कानूनी कार्रवाई के लिए तैयार रहें।

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