
Shardiya Navratri 2024 : नवरात्रि के नौ दिनों में माता रानी के अलग-अलग स्वरूपों की पूजा की जाती है। नवरात्रि के छठे दिन यानी आज मां कात्यायनी की पूजा की जाती है। मां कात्यायनी को देवी दुर्गा का छठा रूप माना गया है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, देवी कात्यायनी को ऋषि की पुत्री होने के कारण कात्यायनी नाम मिला था।
माता के इस स्वरूप की पूजा करने से सभी रोग-दोषों से मुक्ति मिलती है। साथ ही सुख-समृद्धि की प्राप्ति भी होती है। माना जाता है कि भगवान कृष्ण की प्राप्ति के लिए गोपियों ने माता कात्यायनी की पूजा की थी। ऐसे में जो भी इनकी पूजा करता है उसे इच्छानुसार वर की प्राप्ति होती है।
नौ दिवसीय नवरात्रि का पर्व आश्विन शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से नवमी तक होता है। इस बार शारदीय नवरात्रि की शुरुआत 3 अक्टूबर से हुई है और समापन 12 अक्टूबर 2024 को होगा।
नवरात्रि का छठा दिन: मां कात्यायनी की आराधना
नवरात्रि के छठे दिन हम देवी कात्यायनी की पूजा करते हैं। देवी कात्यायनी को युद्ध की देवी माना जाता है और इनकी कृपा से सभी विघ्न दूर होते हैं। मां कात्यायनी की पूजा करने से बुरी शक्तियों का नाश होता है और जीवन में सफलता मिलती है। मान्यता है कि जो लोग मां कात्यायनी की सच्चे मन से पूजा करते हैं, उनकी सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
मां कात्यायनी दुर्गा का स्वरूप
मां कात्यायनी दुर्गा के दस महाविद्याओं में से एक हैं। इनका वाहन सिंह है और ये हमेशा चार भुजाओं वाली दिखाई देती हैं। इनके दो हाथों में कमल और बाकी दो हाथों में तलवार और बाण होता है।
पूजा विधि
- पूजा शुरू करने से पहले पूजा स्थल को गंगाजल या शुद्ध जल से धोकर शुद्ध कर लें।
- कलश स्थापित करें और उसमें गंगाजल, रोली, चावल, कुछ सिक्के और आम के पत्ते रखें।
- मां कात्यायनी की प्रतिमा या चित्र को एक साफ आसन पर स्थापित करें।
- मां कात्यायनी को सिंदूर, कुमकुम, चुनरी आदि से सजाएं।
- घी का दीपक जलाएं।
- मां कात्यायनी को फूल, फल, मिठाई आदि अर्पित करें।
- मां कात्यायनी के मंत्रों का जाप करें।
- मां कात्यायनी की आरती करें।
- मंत्र : ॐ कात्यायनी माता नमः
- भोग : मां कात्यायनी को भोग में हलवा, पुरी और खीर अर्पित किया जाता है।
- रंग : नवरात्रि के छठे दिन का रंग पीला होता है।
मां कात्यायनी की पूजा करने के लाभ
मां कात्यायनी, दुर्गा माता के दस महाविद्याओं में से एक हैं और युद्ध की देवी के रूप में पूजित होती हैं। उनकी पूजा करने से कई लाभ प्राप्त होते हैं। आइए जानते हैं इन लाभों के बारे में:
- शत्रुओं पर विजय: मां कात्यायनी को शत्रुओं पर विजय दिलाने वाली देवी माना जाता है। उनकी पूजा करने से जीवन में आने वाले सभी प्रकार के शत्रुओं का नाश होता है।
- साहस और शक्ति: मां कात्यायनी साहस और शक्ति की देवी हैं। उनकी पूजा करने से व्यक्ति में साहस और शक्ति का विकास होता है।
- बुद्धि और विवेक: मां कात्यायनी बुद्धि और विवेक की देवी भी हैं। उनकी पूजा करने से व्यक्ति को बुद्धि और विवेक की प्राप्ति होती है।
- विवाह में सफलता: कुंवारी कन्याएं शीघ्र विवाह के लिए मां कात्यायनी की पूजा करती हैं। मान्यता है कि उनकी कृपा से विवाह में आ रही बाधाएं दूर होती हैं।
- सकारात्मक ऊर्जा: मां कात्यायनी की पूजा करने से व्यक्ति के आसपास सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
- मन की शांति: मां कात्यायनी की पूजा करने से मन शांत होता है और तनाव कम होता है।
- सभी प्रकार के कष्टों से मुक्ति: मां कात्यायनी सभी प्रकार के कष्टों से मुक्ति दिलाने वाली देवी हैं। उनकी पूजा करने से जीवन में आने वाली सभी प्रकार की समस्याओं का समाधान होता है।
- स्वास्थ्य लाभ: मां कात्यायनी की पूजा करने से स्वास्थ्य लाभ होता है और रोगों से मुक्ति मिलती है।
- धन लाभ: मां कात्यायनी की पूजा करने से धन लाभ होता है और आर्थिक स्थिति मजबूत होती है।
- कार्यस्थल पर सफलता: मां कात्यायनी की पूजा करने से कार्यस्थल पर सफलता मिलती है और पदोन्नति होती है।
(नोट: यहां दी गई सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। हम मान्यता और जानकारी की पुष्टि नहीं करते हैं।)