
धर्मेंद्र त्रिवेदी-ग्वालियर। सहरिया आदिवासियों सहित अनुसूचित जाति-जनजाति के गरीब परिवार बंधुआ मजदूरी कराने वाले दलालों के आसानी से शिकार हो जाते हैं। ये दलाल महाराष्ट्र, गुजरात, उत्तरप्रदेश और राजस्थान में ज्यादा मजदूरी का लालच देकर ले जाते हैं। मजदूरों को ले जाने से पहले 10 हजार रुपए से लेकर 50 हजार रुपए प्रति परिवार या प्रति मजदूर एडवांस भी दिया जाता है। इसके बाद इस रकम को पटाने की बात कहकर बंधुआ मजदूर बनाकर काम कराया जाता है।
अंचल में बंधुआ उन्मूलन को लेकर कार्य कर रहीं संस्थाओं के प्रतिनिधियों के अनुसार वर्ष 2019 से अभी तक करीब 1500 मजदूरों को अन्य प्रदेशों से मुक्त कराया गया है। ग्वालियर अंचल में भी ईट भट्टों पर बंधुआ मजदूरी के प्रकरण सामने आए हैं। इसको लेकर श्रम विभाग के अधिकारियों का कहना है कि सूचना मिलते ही कार्रवाई की जाती है। बीते वर्षों में कुछ प्रकरणों में मजदूरों को रेस्क्यू किया गया।
केस-1
शिवपुरी के खिरई घुटी गांव के 35 आदिवासी गायब हो गए थे। सहरिया क्रांति संगठन ने प्रयास किए तो पता चला कि ये सभी मजदूरी के लिए महराष्ट्र गए थे, जहां जबरन मजदूरी कराई जा रही थी, सभी को वापस लाया गया।
केस-2
जनवरी 2024 में कर्नाटक से शिवपुरी के 117 सहरिया और दलित मजदूर वापस लाए गए। इन सभी को अच्छी मजदूरी का लालच देकर ले गए थे। इनको छुड़ाया गया तो कुछ मजदूरों के पैर में जंजीर बंधी हुई मिली थी।
केस-3
शिवपुरी के ठकुरपुरा गांव से आदिवासी परिवार को ग्वालियर के कुलैथ लाया गया था। यहां खेत पर जबरन रखकर इनसे मजदूरी कराई जा रही थी। यह मामला दो वर्ष पुराना है। पुलिस ने प्रकरण दर्ज किया था।
केस-4
जुलाई 2024 को राजस्थान के बारां जिले की किशनगंज तहसील से 13 मजदूर मुक्त कराए गए थे। ये सभी गुना के पारोंदा गांव के थे। इन्हें खेती के काम के लिए दबंगों ने जबरन रखा था।
केस-5
ग्वालियर के नयागांव निवासी 26 श्रमिकों को महाराष्ट्र के लातूर जिले से मुक्त कराया, जबकि 51 मजदूरों को भितरवार के ईटमां गांव में ईट भट्टे की बंधुआ मजदूरी से मुक्ति दिलाई गई।
हम स्थानीय स्तर पर और दूसरे प्रदेशों में जाकर शिवपुरी अंचल के सहरिया आदिवासी श्रमिकों को बंधुआ मजदूरी से मुक्ति दिलाकर लाए हैं। -संजय बैचेन-राष्ट्रीय संयोजक-सहरिया क्रांति
बंधुआ मजदूरी का शिकार हुए मजदूरों की मानसिक स्थिति को बेहतर करने के लिए स्पेशल थैरेपी के साथ काउंसलिंग की जाती है। -आलोक बैंजामिन, मनोवैज्ञानिक काउंसलर
टीम कार्रवाई करती है
बंधुआ मजदूरों से सबंधित खबर अगर कहीं से मिलती है तो हमारी टीम बराबर कार्रवाई करती है। अभी वतर्मान में कोई नया मामला संज्ञान में नहीं है। -टीएन सिंह, अपर कलेक्टर